लॉन्चिंग के 10 दिन में छा गई मोदी सरकार की यह स्कीम, ताबड़तोड़ लोग कर रहे अप्लाई

केंद्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उपक्रम मंत्री नारायण राणे ने बुधवार को कहा कि पीएम विश्वकर्मा योजना की पेशकश के 10 दिन के भीतर ही इस योजना का लाभ लेने के लिए 1.40 लाख से अधिक आवेदन प्राप्त हुए हैं।

राणे ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा कि पीएम विश्वकर्मा योजना प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के दृष्टिकोण का परिणाम है और पेशकश के दस दिन के भीतर इतनी अधिक संख्या में आवेदन प्राप्त होना इस योजना की सफलता का प्रमाण है।

उन्होंने कहा कि पीएम विश्वकर्मा योजना हमारे सामाजिक और आर्थिक रूप से वंचित विश्वकर्मा भाइयों और बहनों के व्यापक विकास के लिए एक मील का पत्थर साबित होगी। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इस योजना का उद्देश्य पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों की उत्पादन क्षमता को बढ़ाना और उनके उत्पादों को घरेलू और वैश्विक बाजारों तक पहुंचाना है। योजना के तहत 18 प्रकार के कारीगरों और शिल्पकारों को लाभ मिलेगा।

क्या मिलेंगे फायदा: लाभार्थियों को कौशल प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा और उन्हें प्रशिक्षण के दौरान 500 रुपये का दैनिक वजीफा मिलेगा। इसके अलावा टूल किट खरीदने के लिए 15,000 रुपये की सहायता प्रदान की जाएगी। लाभार्थी तीन लाख तक के गारंटी मुक्त कर्ज के लिए भी पात्र होंगे।

कैसे लोगों को फायदा: योजना के तहत 18 पारंपरिक शिल्पों को शामिल किया गया है। इनमें बढ़ई, नौका निर्माता, शस्त्रसाज, लोहार, हथौड़ा और टूल किट निर्माता, ताला बनाने वाला, सुनार, कुम्हार, मूर्तिकार, पत्थर तोड़ने वाला, मोची (जूता/जूता कारीगर), राजमिस्त्री, टोकरी/चटाई/झाड़ू निर्माता/कॉयर बुनकर, गुड़िया और खिलौना निर्माता (पारंपरिक), नाई, माला बनाने वाला, धोबी, दर्जी और मछली पकड़ने का जाल बनाने वाला शामिल हैं।