कोरोना पर लगाम लगाने के लिए केरल सरकार ने किया ऐसा, जानकर चौक जाएंगे आप

मुख्यमंत्री ने कहा कि पहली लहर के विपरीत, केरल को दूसरी लहर के दौरान कई नये संकटों का सामना करना पड़ा. उन्होंने कहा कि आईसीएमआर के पहले सीरो सर्वे अध्ययन में पाया गया कि पहली लहर के दौरान केरल में मामलों की संख्या बहुत कम थी. राज्य में केवल 11 प्रतिशत लोग ही संक्रमित थे.

विजयन ने आगे कहा कि राज्य में 3-9 सितंबर के दौरान सक्रिय मामलों में से केवल दो प्रतिशत को ऑक्सीजन बेड की आवश्यकता थी और केवल एक प्रतिशत को ही आईसीयू में भर्ती कराया गया था.

उन्होंने प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि तीन से नौ सितंबर की अवधि के दौरान राज्य में औसतन 2,42,278 सक्रिय मामले थे, जिनमें से केवल दो प्रतिशत को ऑक्सीजन बेड की आवश्यकता थी और एक प्रतिशत आईसीयू में भर्ती हुए.

मुख्यमंत्री ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि यह प्रैक्टिस 18 वर्ष और उससे अधिक आयु वर्ग के लिए 30 सितंबर तक पूरा होने की उम्मीद है. विजयन ने ताजा आंकड़े साझा करते हुए कहा कि केरल में 78 फीसदी वयस्क आबादी को कोविड वैक्सीन की पहली खुराक दी जा चुकी है. उन्होंने कहा कि 45 वर्ष से अधिक आयु के 93 प्रतिशत लोगों को टीके की पहली खुराक दी गयी है, जबकि 50 प्रतिशत को दूसरी खुराक भी दी जा चुकी है.

केरल में लगातार बढ़ रहे कोरोना के मामलों के बीच राज्य सरकार ने 100 फीसदी वैक्सीनेशन का लक्ष्य तय कर दिया है. इसके लिए 30 सितंबर की डेडलाइन रखी गयी है.

मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने शुक्रवार को कहा कि उनकी सरकार 30 सितंबर तक राज्य के सभी वयस्कों को कोरोना वैक्सीन का कम से कम एक डोज देने का लक्ष्य लेकर चल रही है.