हस्तरेखा से जानिए अपनी किस्मत, क्या शुभ और क्या अशुभ

यदि मुख्य भाग्य रेखा लंबी हो और दूसरी भाग्य रेखा छोटी हो तो यह सहायक बनकर व्यक्ति का साथ देती है। ऐसे व्यक्ति को पत्नी या स्त्री मित्रों से सहयोग मिलता है। दोनों भाग्य रेखा हूबहू एक जैसी हों और गहरी लालिमा लिए हों तो व्यक्ति को धन की कभी कमी नहीं होती।

 

यदि हथेली में दो भाग्य रेखा हों और उनमें से एक कटी-फटी हो तो व्यक्ति को जीवन में अनेक बार बड़ी मुसीबतों का सामना करना पड़ता है।
यदि डबल भाग्य रेखा चंद्र पर्वत से प्रारंभ हो तो व्यक्ति धनवान होता है और खासकर विदेशों से पैसा कमाता है, लेकिन ऐसा व्यक्ति अपने वैवाहिक जीवन में संतुष्ट नहीं होता है।

यदि भाग्य रेखा के समानांतर दूसरी भाग्य शुरू से अंत तक चल रही हो और अंतिम बिंदु पर आकर दोनों मिल जाए तो व्यक्ति को किसी भी कार्य में सफलता विलंब से मिलती है।

यदि भाग्य रेखा के समानांतर दूसरी भाग्य रेखा जीवन रेखा से प्रारंभ हो तो जीवन रेखा के जिस स्थान से वह शुरू होती है, जीवन के उस आयु वर्ष में व्यक्ति को बड़ी धन हानि उठानी पड़ती है।

यदि भाग्य रेखा के समानांतर दूसरी भाग्य रेखा मस्तिष्क रेखा से प्रारंभ हो रही हो तो व्यक्ति की किस्मत ऐन मौके पर रूठ जाती है। उसके काम बिलकुल पूरे होने की स्थिति में आ जाते हैं, लेकिन रुक जाते हैं। इससे व्यक्ति को भारी मानसिक तनाव होता है।

यदि किसी व्यक्ति के हाथ में दोहरी भाग्य रेखा है तो यह किस्मत की राह में रोड़े भी अटका सकती है। कुछ मायनों में दोहरी भाग्य रेखा सपोर्ट देने का काम भी करती है, लेकिन ज्यादातर स्थितियों में डबल भाग्य रेखा होना शुभ सूचक नहीं है। जानिए इससे जुड़ी खास बातें.

यदि किसी के हाथ में मणिबंध क्षेत्र से भाग्य रेखा निकलकर शनि पर्वत तक पहुंच रही है और उसके समानांतर दूसरी भाग्य रेखा चल रही है तो ऐसे व्यक्ति की आय से दोगुना खर्च की स्थिति बनती है।