जैसा की ये तो सभी देशवासियों को मालूम ही है, की निर्भया केस को लेकर चार्चा किस कदर जोरों शोरों से है। वहीं ऐसे में चारों दोषियों अक्षय, पवन, विनय और मुकेश की फांसी की सजा को लेकर चर्चा इस कदर तेज हो गई है, निर्भया मामले में चारों दोषियों के परिजन फांसी की तिथि करीब आने से सदमे में हैं।
उन्होंने पड़ोसियों से भी बात करना अब बंद कर दिया है। जी हां आपकों बतादें की, इस बीच दिल्ली की तिहाड़ जेल में पिछले चार दिनों से फांसी घर में डमी को फंदे पर लटकाने का अभ्यास किया जा रहा है। बताते चलें की, जेल अधिकारी ने सारी प्रक्रिया देखी और तकनीकी पहलुओं को देखने के बाद इस प्रक्रिया को रोक दिया गया। सूत्रों का कहना है कि दोबारा डमी को लटकाने की प्रक्रिया तब शुरू होगी, जब निर्भया के गुनहगारों का डेथ वारंट जारी कर दिया जाएगा।
गुनहगारों की गतिविधियों पर निगरानी रखी जा रही है। तमिलनाडु पुलिस के एक जवान हर समय उनके साथ रहता है। उनके हावभाव पर जेल प्रशासन नजर रख रहा है। जेल नंबर-दो में पवन, मुकेश व अक्षय बंद है, वहीं विनय जेल नंबर-चार में है। जेल सूत्रों ने बताया कि ये अब अपने बैरक से पहले के मुकाबले काफी कम बाहर निकल रहे हैं।
जेल अधिकारी समय-समय पर इनसे बात करने के लिए जा रहे हैं। दिन में दो बार उनके स्वास्थ्य की जांच की जा रही है।
निर्भया मामले में चारों दोषियों के परिजन फांसी की तिथि करीब आने से सदमे में हैं। उन्होंने पड़ोसियों से भी बात करना अब बंद कर दिया है। इनमें से तीन दोषियों पवन, विनय और मुकेश के घर आरकेपुरम के सेक्टर-3 में रविदास कैंप स्थित झुग्गी में हैं। पवन और विनय के परिजन यहीं रहते हैं, जबकि मुकेश के परिजन दूसरी जगह शिफ्ट हो चुके हैं। उन्होंने अपनी झुग्गी में ताला लगा रखा है। अक्षय का परिवार दूसरे इलाके में रहता है।
निर्भया मामले में कुल छह दोषियों में से मुकेश और राम सिंह सगे भाई हैं। राम सिंह आत्महत्या कर चुका है। फिलहाल पवन और विनय के परिजन मीडियाकर्मियों से मिल तो रहे हैं, लेकिन बातचीत नहीं कर रहे हैं। उनका कहना है कि अब वह क्या बात करें। बहुत बात कर चुके, घर पर मौजूद पवन की बहन ने कहा कि घरवालों ने किसी से भी बातचीत करने से मना किया है। अगर कोई बात करता है, तो मां उसे घर के पास खड़ा नहीं होने देती हैं। इतना कह कर उसने भी घर का दरवाजा बंद कर लिया। पवन के पिता हीरालाल और मां आरकेपुरम के सेक्टर-1 में फलों का ठेला लगाते हैं।