अगर आपके भी है 4 या उससे ज्यादा बच्चे तो फिर आपको जीवन भर नहीं देना होगा इनकम टैक्स

पूरी दुनिया में एक चिंता सबसे बड़ी मानी जा रही है, वो ये है कि बढ़ती आबादी। लेकिन एक इसी दुनिया में एक देश ऐसा भी है, जो अपने नागरिकों को आबादी बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित कर रहा है. बता दें कि हंगरी में आबादी का जबरदस्त संकट है पर वहां जनसंख्या ज्यादा नहीं बल्कि बेहद कम है। ऐसे में वहां के प्रधानमंत्री विक्टर ऑर्बन ने अपने देश में आबादी बढ़ाने के लिए एक अनोखे सात सूत्रीय की घोषणा की है।

इस फैमिली प्रोटेक्शन ऐक्शन प्लान के चलते हंगरी की चार या उससे ज्यादा बच्चे पैदा करने वाली महिलाओं को आजीवन आयकर नहीं देना पड़ेगा। साथ ही इसी योजना के अंतर्गत लोगों को शादी करने और परिवार बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित करने का कार्यक्रम भी शामिल किया गया है।

घटती आबादी से असुरक्षा का डर

वहीं हंगरी के प्रधानमंत्री ऑर्बन का मानना है कि अगर देश को प्रवासियों पर निर्भर होने के खतरे से बचाना है आैर हंगरी का भविष्य सुरक्षित रखना है तो यही एक मात्र तरीका है। आॅर्बन को दक्षिणपंथी राष्ट्रवादी आैर देश में मुस्लिम प्रवासियों का विरोधी माना जाता है।

बता दें कि एक अखबार वाशिंगटन पोस्ट के अनुसार हंगरी की आबादी प्रति वर्ष 32,000 की दर से घट रही है। बताया जा रहा है कि यूरोपीय यूनियन देशों की तुलना में हंगरी में महिलाओं के बहुत कम बच्चे हैं। जिसके बाद ये योजना लाइ गई.

इसी वजह से इस योजना के तहत ये भी कहा गया है कि यहां ऐसे दंपतियों को 36,000 डॉलर तक का लोन बिना किसी ब्याज के दिया जाएगा। इसके अलावा, ऐसे परिवारों को सेवेन सीटर कार खरीदने में सब्सिडी भी दी जाएंगी।

लगातार मिलेगा प्रोत्साहन

लाभ मिलने का ये कार्यक्रम पहले से ही प्रारंभ हो जायेगा जब इस ऐक्शन प्लान में दो बच्चों वाले परिवारों को भी घर खरीदने के लिए लोन आैर 40 से कम उम्र वाली महिलाओं को शादी के बाद लोन की सुविधा दी जाएगी।

वहीं कामकाजी महिलायें बच्चों की जिम्मेदारी संभालने से ना कतरायें इसके लिए 21,000 क्रैच खोले जाने की भी घोषणा की गई है। हंगरी के प्रधानमंत्री चाहते हैं कि वे जनसंख्या बढ़ाने के लिए प्रवासियों पर नहीं हमें हंगेरियन बच्चों पर निर्भर हों। विक्टर के अपने भी पांच बच्चे हैं।

बहुत कम है प्रजनन दर

गौरतलब है कि प्रधानमंत्री की चिंता जायज भी है क्योंकि हंगरी में महिलाओं की औसत प्रजनन दर महज 1.45 है जो औसत ईयू के औसत 1.58 से भी कम है। वैसे इस समस्या से जूझने वाला हंगरी अकेला नहीं है उसका पड़ोसी देश सर्बिया भी तेजी से घटती आबादी का शिकार है। वहां की आबादी 7 लाख और औसत उम्र 43 वर्ष है।

बता दें कि सर्बिया ने भी मार्च महीने में नई मांओं को पहले बच्चे पर 956 डॉलर का भुगतान किए जाने, दूसरे बच्चे पर 96 डॉलर और तीसरे-चौथे बच्चों पर भी कुछ रकम दिए जाने की की घोषणा की थी। वैसे यूरोप में सबसे कम प्रजनन दर इटली की । यहां भी आबादी बढ़ाने के प्रयास में महिलाओं को हर बच्चे के पैदा होने पर 90 डॉलर का भत्ता दिया जाता है।