एक से अधिक बॉयफ्रेंड रखने वाली लड़किया होती है ऐसी…

इतना सब होने पर भी पाँचों में से किसी को भनक भी ना लग पाना कि कोई और बॉयफ्रेंड भी है, यह पक्की मैनेजमेंट स्किल्स ही हैं हुज़ूर।

 

सब बातों का खेल है उस्ताद और लड़कियों की मीठी-मीठी चिकनी-चुपड़ी बातों से तो बड़े-बड़े ऋषि-मुनि और भगवान नहीं बच पाये, यह अदना से लड़के क्या चीज़ हैं?

और अपनी इस शक्ति को यह लड़कियाँ अच्छे से समझती भी हैं और इनका भली-भांति इस्तेमाल भी करना जानती हैं। ऐसे ही नहीं कई लड़कों को अपनी ऊँगली पर नचातीं ना।

यार अब ग़लत मत समझना, मैनीपुलेशन कह लो या प्यार-मोहब्बत से बहला-फुसला के अपना काम निकलवाना। अब इसके बिना कैसे बनेंगे लड़के लट्टू?

बस लड़कों के दिल से खेल लो थोड़ा सा, प्यार से बना लो अपना और फिर देखो कैसे बन्दर के जैसे गुलाटियाँ मारते नज़र आएँगे यह बाँगड़ू! लड़कियाँ इस काम में माहिर होती हैं जनाब

आज के जमाने में वैसे तो एक लड़की के लिए 5-5 बॉयफ्रेंड्स को घुमाना कोई आसान काम नहीं है, इसके लिए ख़ास वाला टैलेंट चाहिए।

हर किसी के बस की बात भी नहीं है! सोचो पकड़े जाओ तो?यही तो टैलेंट है श्रीमान। आओ ज़रा बताएँ क्या गुण चाहिएँ ऐसी लड़कियों को ये क़िला फ़तेह करने के लिए- जी हाँ, बड़े-बड़े एम बी ए के कॉलेजेस में यह ज्ञान नहीं मिलेगा .

जो यह लड़कियाँ सीखा जाएँगी। एक बॉयफ्रेंड को कॉलेज छोड़ने और ले आने की ज़िम्मेदारी तो दूसरे को फ़ोन रिचार्ज करवाने की।

तीसरे से शॉपिंग करवाने की तो चौथे से डिनर पर ले जाने की। और पाँचवे महाशय सिर्फ़ फ़ोन पर ही मज़े दिलवायेंगे और फिर भी मेहबूबा के गुण गाएँगे।