खुफिया विभाग ने चिह्नित इन । इसको लेकर खुफिया विभाग ने अलर्ट जारी कर दिया है। विभाग ने एटीएस को जिन आतंकवादियों की सूची सौंपी है, उनकी पहचान राष्ट्र के अलग-अलग हिस्सों से अरैस्ट आतंकवादियों ने की है। विभाग ने बताया कि गणेशोत्सव परवहां बड़ी वारदात को अंजाम देने की फिराक में था।
खुफिया विभाग ने बिहार एटीएस को राष्ट्र के अलग-अलग शहरों को दहलाने की साजिश रच रहे 36 ऐसे बिहारी आतंकवादियों की सूची भेजी है, जिसमें सभी आतंकवादी पटना के आसपास इलाके के हैं। माना जा रहा है कि ये आतंकवादी अपने आका के इशारे पर राष्ट्र के किसी भी कोने में जाकर आतंक फैला सकते हैं। वहीं खुफिया विभाग ने सभी आतंकवादियोंके नाम की लिस्ट भी जारी कर दी है।
यही नहीं, बिहार में भी त्योहार पर बड़ी घटना को अंजाम दे सकते हैं। यह भी बताया गया है कि घटना को अंजाम देने से पहले आतंकवादी खोमचे वाले जैसे रूप धारण कर स्थल की रेकी करते हैं। ये आने-जाने के लिए सार्वजनिक वाहन जैसे बस-ट्रेन आदि का उपयोग करते हैं। इसके लिए विभाग ने सीसीटीवी फुटेज पर निगरानी रखने व उनका गहन विश्लेषण की जरूरत जताई है।
खुफिया विभाग की ओर से जारी कुछ आतंकवादियों के नाम :
1. शेखावत अली उर्फ मुन्ना भाई, पिता रहमतुल्ला फुलवारी शरीफ, पटना
2. रियाजुल मुजाहिद उर्फ खुशरू भाई, पिता युसुफ मलिक, फुलवारी शरीफ, पटना
3. जियाउद्दीन अंसारी उर्फ जलालुद्दीन अंसारी उर्फ जिया भाई, पिता नईम अंसारी, फुलवारी शरीफ
4. सैयद साह हसीब रज्जा उर्फ हबीब रजा, पिता स्व। फिरदौस रजा, फुलवारी शरीफ, पटना
5. मो। शकील, पिता अबु मोहम्मद, फुलवारी शरीफ, पटना
6. मंजर परवेज, पिता अब्दुल क्यूम, फुलवारी शरीफ, पटना
7. मो। जावेद, पिता एसएम अकील, दानापुर, पटना
8. मो। अबरार आरिफ, अमीन मंजील, एक्जीविशन रोड पटना
9. मो। इतसामुल हक, खगौल, पटना
मुस्लिम हैं सभी आतंकी
वहींं बिहार के एडीजी मुख्यालय एसके सिंघल ने इस बात पर ज्यादा कुछ न बोलते हुए बोला कि इस पर अभी कुछ भी बोलना मुनासिब नहीं है क्योंकि कई राज्यों की पुलिस इस पर कार्य कर रही है। इस पूर्व डीजीपी रामचन्द्र खान व पूर्व डीजीपी डीएन गौतम ने बिहार में आतंकवादी होने से इंकार न करते हुए बताया की कोई महत्वपूर्ण नहीं है कि बिहारी ही आतंकवादी हो क्योंकि आतंकवादी घटना बहुत ज्यादा पहले से हो रही है।
अब तक अरैस्ट किए गए सभी आतंकवादी मुस्लिम समुदाय के ही हैं। इसलिए इस पर एटीएस को विशेष रूप से धयान देने की आवश्यकता है। वर्ष 2014 में नेपाल सीमा से एनआईए की ओर से अरैस्ट समस्तीपुर के कल्याणपुर प्रखंड के तहसीन अख्तर उर्फ मोनू उर्फ हसन उर्फ मेनन ने भी कई राज उगले हैं।
बिहार में अब तक की बड़ी आतंकवादी घटनाएं :
रफीगंज ट्रेन हादसा
10 सितंबर, 2002 को रफीगंज में हावड़ा राजधानी एक्सप्रेस दुर्घटनाग्रस्त हुई थी। इसमें 200 लोग मारे गए थे व 150 से अधिक घायल हुए थे। नदी में गिरी ट्रेन को पहले एक्सीडेंटमाना गया। बाद में जांच से साफ हुआ कि यह एक सोची-समझी आतंकवादी वारदात थी।
बोधगया धमाके
07 जुलाई, 2013 को बिहार में दूसरी आतंकवादी घटना हुई। तब महाबोधि मंदिर परिसर के चारों ओर आठ ब्लास्ट हुए। इस आतंकवादी घटना में दो बौद्ध समेत छह श्रद्धालुओं की मौत हुई व पांच लोग घायल हुए थे।
पटना बम ब्लास्ट
27 अक्तूबर, 2013 को पटना के गांधी मैदान में बीजेपी के पीएम उम्मीदवार नरेंद्र मोदी की सभा में शृंखलाबद्ध विस्फोट हुआ। हुंकार रैली में गांधी मैदान में करीब चार लाख लोग जुटे थे। इस आतंकवादी घटना में छह लोगों की मौत हुई थी, जबकि 85 लोग घायल हुए थे।
आरा कचहरी
23 जनवरी 2015 को आरा कचहरी परिसर में भी आतंकवादी हमला हुआ था। इस हमले में किए गए विस्फोट से दो लोगों की मौके पर ही मौत हो गई थी, जबकि सात अन्य घायल हुए थे।