अमेरिकी ड्रोन को लेकर ईरान का ये दावा हुआ बेकार आई ये सच्चाई सामने

ईरान ने दावा किया है कि ”ईरानी हवाईक्षेत्र का उल्लंघन” करने पर उसने अमेरिकी ड्रोन को मार गिराया है। वहीं, डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि ईरान ने अमेरिका के ड्रोन को गिराकर ‘बड़ी गलती’ की है। यह एक ऐसी घटना है जिसके बाद वॉशिंगटन और तेहरान के बीच तनाव और बढ़ सकता है। इसके बाद दोनों ही देशों के बीच तनाव की स्थिति बनी हुई है।

क्या है RQ-4A ग्लोबल हॉक

ईरान ने जिस अमेरिकी ड्रोन को मार गिराया है उसका नाम RQ-4A ग्लोबल हॉक है। यह अमेरिकी नेवी ब्रॉड एरिया मेरिटाइम सर्विलांस (BAMS-D) का विमान था। टाइम न्यूज वेबसाइट के मुताबिक यह एक मानवरहित विमान है जो समुद्र में निगरानी के लिए होता है। RQ-4A ग्लोबल हॉक विमान बेहद ही कीमती है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक 2011 में इस विमान की 176 मिलियन डॉलर यानी 12 सौ, 25 करोड़ रुपये से अधिक है। यह ड्रोन बिना हथियार के होते हैं। रिपोर्ट के मुताबिक यह लड़ाकू विमान की तुलना में बड़ा, भारी और धीमा होता है। जिस तरह से MQ-1 Predator और MQ-9 Reaper मिसाइल हवाई हमले के लिए इस्तेमाल होते हैं, वैसे यह सूचना इकठ्ठा करने के लिए इस्तेमाल किए जाते हैं। बता दें कि यह ड्रोन 60,000 फीट तक की ऊँचाई पर उड़ते हैं।

वहीं, न्यूयॉर्क टाइम्स अखबार के मुताबिक ईरान के अमेरिकी सैन्य निगरानी ड्रोन को गिराने के बाद अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने ईरान पर हवाई हमले की अनुमति दी थी लेकिन बाद में अपने फैसले को वापस ले लिया। ‘न्यूयॉर्क टाइम्स’ ने वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारियों के हवाले से कहा कि अमेरिका गुरुवार शाम ईरान के रडार और मिसाइल बैटरियों जैसे कुछ ठिकानों को निशाना बनाने की योजना बना रहा था लेकिन योजना को शुरुआती चरण में ही अचानक निरस्त कर दिया गया।