गुजरातियों के गुस्से व उत्तर हिंदुस्तानियों पर होने वाले हमलों की वजह से अब तक 8 हजार से ज्यादा लोग पलायन कर चुके हैं. चार दिन में उत्तर हिंदुस्तानियों पर 42 से ज्यादा हमले हो चुके हैं. आक्रोश का प्रभाव मेहसाणा, साबरकांठा, अहमदाबाद, अरावली, पाटण, गांधीनगर जिलों में सबसे ज्यादा देखने को मिल रहा है.
पुलिस ने अब तक हिंसा में शामिल 342 लोगों को अरैस्ट किया है. सोशल मीडिया पर अफवाहें फैलाकर हिंसा भड़काने वाले 70 लोगों के विरूद्ध मामला दर्ज करके सात को अरैस्टकिया गया है. हिंसा प्रभावित क्षेत्रों के लिए पुलिस ने एक हेल्पलाइन नंबर जारी किया है. गैर गुजरातियों की सुरक्षा के लिए राज्य में राज्य रिजर्व पुलिस की 17 कंपनियों को तैनात किया गया है.
बस्तियों के साथ-साथ जिन फैक्ट्रियों में उत्तर इंडियन लोग कार्य करते हैं, उन स्थानों की भी सुरक्षा बढ़ाई गई है. वहीं 19 वर्ष के आरोपी बिहारी को इस समय हिम्मतनगर की उप-जेल में रखा गया है. साबरकांठा की बार एसोसिएशन ने घोषणा की है कि उनमें से कोई भी आरोपी का एडवोकेट बनकर न्यायालय में पेश नहीं होगा.
मजदूरों के पलायन की वजह से कई फैक्ट्रियों को कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है. इसी बीच राज्य के गृहमंत्री प्रदीप सिंह जडेजा ने रविवार को मीटिंग बुलाकर हालातों की समीक्षा की. गवर्नमेंट चाहती है कि घटना के आरोपियों को सरलता से जमानत ना मिल पाए