चारधाम यात्रा को लेकर यात्री बेहद परेशान, जानिए क्या है वजह

बदरीनाथ-केदारनाथ सहित चारधाम यात्रा को लेकर अगर व्यवस्थाओं में जल्द सुधार न हुआ तो यात्रा को जाने वाले और यात्रा करके लौट रहे यात्री बेहद परेशान नजर आ रहे है। यात्रियों की परेशानी के साथ फैली अव्यवस्थाओं को लेकर यात्री चारधाम यात्रा को लेकर गलत संदेश के साथ अपने घरों को वापिस लौट रहे है।

ऐसे ही यात्रियों से जब बात की तो वे ये कहने भी नहीं हिचके कि वापिस जाकर दूसरों को उत्तराखंड में न आने की सलाह देंगे। क्योंकि यात्रा के दौरान कागजातों की जांच को लेकर प्रशासन ने जिस तरह से घंटों खड़ा कर उन्हें परेशान किया वे नहीं चाहते कि अन्य और कोई भी इसे भुगते।

अहमदाबाद गुजरात से 40 लोगों को लेकर आए विष्णु प्रसाद साधु का साफ कहना है कि पिछले कई सालों से वे यात्रियों को लेकर चारधाम को आ रहे है। ऐसी अव्यवस्था उन्होंने पहले कभी नहीं देखी थी।

उनके साथ आए यात्री इतने परेशान है कि वह दोबारा न आने की बात कर रहे है। विष्णु ने बताया कि केदारनाथ जाते समय कई स्थानों पर गाड़ियों को रोककर कागजों की जांच की जाती है। एक जांच में उन्हें चार से पांच घंटे तक परेशान किया जाता है। मौके पर अफसर सुनने को तैयार नहीं है।

विष्णु ने कहा कि वह कागज चैकिंग के खिलाफ नहीं है लेकिन यह चैकिंग एक बार एक स्थान पर ही की जानी चाहिए। जिससे यात्री परेशान न हो। विष्णु ने बताया कि दो वैक्सीन और आरटीपीसीआर जांच कराने के बाद ही सभी यात्री चार धाम यात्रा को आए। लेकिन डामटा के पास उन्हें बस का पास बनाने को कहा गया। जिस कारण यहां तीन घंटे बर्बाद हो गए।

इंदोर निवासी सुनील सोनी का कहना है कि वह 12 लोग चारधाम यात्रा को आए है। सभी का वैक्सीनेशन हो चुका है। चार दिन से वह हरिद्वार में ठहरे हुए है। शनिवार को छह लोगों को बड़ी मुश्किल से ई पास मिला है।

जबकि जरूरत 12 पास की है। प्रशासन का रवैया गलत है। कहीं कोई मदद नहीं कर रहा है। ट्रेवल एजेंट ही भागदौड़ कर रहे है। अगर सभी के पास नहीं मिले तो बगैर चारधाम यात्रा किए ही लौट जाएंगे। सुनील सोनी ने कहा कि कि चारधाम को लेकर जिस तरह की व्यवस्थाएं है उसे देखते हुए कोई यात्रा के लिए नहीं आएगा।