महाराष्ट्र में बीजेपी ने उठाया ये बड़ा कदम, बुलाई कमेटी की मीटिंग

महाराष्ट्र के गवर्नर भगत सिंह कोश्यारी ने शनिवार शाम को सबसे बड़े दल बीजेपी को सरकार बनाने का न्योता दिया. आधी रात को प्रदेश विधानसभा का कार्यकाल समाप्त होने से बमुश्किल चार घंटे पहले गवर्नर ने कार्यवाहक सीएम  बीजेपी नेता देवेंद्र फडणवीस को यह बताने के लिए बोला है कि उनकी पार्टी सरकार बनाने में सक्षम है या नहीं. इसके बाद भाजपा ने महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए पार्टी की कोर कमेटी की मीटिंग बुलाई है.

 

भाजपा नेता चंद्रकांत पाटिल ने बताया कि पार्टी की कोर कमेटी रविवार को मीटिंग करेगी  भविष्य के कदम पर निर्णय करेगी. सरकार गठन को लेकर बीजेपी के साथ चल रही खींचातानी के बीच शिवसेना ने कोश्यारी के इस कदम का स्वागत किया है. सूत्रों ने बताया कि इससे पहले दिन में वकील जनरल आशुतोष कुंभकोनी राजभवन में गवर्नर कोश्यारी से मिले.

उधर, संजय राउत ने एक बार फिर भाजपा अगर कोई सरकार बनाने को तैयार नहीं है तो शिवसेना ये जिम्मा ले सकती है. उन्होंने बोला कि कांग्रेस पार्टी प्रदेश की शत्रु नहीं है. सभी दलों में कुछ मुद्दों पर मतभेद हैं. शिवसेना नेता संजय राउत ने ट्विट करके बोला है कि जो खानदानी रईस हैं वो मिजाज रखते हैं नर्म अपना, तुम्हारा लहजा बता रहा है, तुम्हारी दौलत नई-नई है.

महाराष्ट्र विधानसभा के नतीजे 24 अक्तूबर को जारी हुए थे, लेकिन अभी तक किसी भी दल या गठबंधन ने सरकार बनाने का दावा पेश नहीं किया था. इसके मद्देनजर कमान अपने हाथ में लेते हुए गवर्नर ने सरकार बनाने की संभावनाओं को तलाशने के लिए सबसे बड़े दल बीजेपी को सरकार बनाने के लिए आमंत्रित किया. 288 सदस्यीय विधानसभा में बीजेपी के पास 105 तो शिवसेना के पास 56 विधायक हैं. लेकिन सीएम के पद को लेकर जारी खींचतान के कारण दोनों सहयोगी दलों के बीच अभी सहमति नहीं बन पाई है. शिवसेना सत्ता के बंटवारे का हवाला देकर ढाई वर्ष तक के लिए सीएम पद अपने पास रखने पर अड़ी हुई है.  राजभवन की ओर से जारी बयान के मुताबिक गवर्नर ने सबसे बड़ी पार्टी होने के नाते ही बीजेपी को सबसे पहले न्योता दिया. कांग्रेस पार्टी के पास कुल 44 तो एनसीपी के पास 54 सीटे हैं.

खरीद-फरोख्त की संभावना पर कांग्रेस पार्टी विधायक राजस्थान भेजे गए
महाराष्ट्र विधानसभा का कार्यकाल नौ नवंबर को खत्म हो गया है  भाजपा-शिवसेना के बीच सरकार गठन को लेकर गतिरोध जारी है. इसी बीच खरीद-फरोख्त की संभावना के मद्देनजर महाराष्ट्र कांग्रेस पार्टी के 34 विधायकों को पार्टी शासित राजस्थान भेज दिया गया है. राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत ने कहा- हमें कांग्रेस पार्टी विधायकों को राजस्थान लाना पड़ा है, क्योंकि वहां बड़े पैमाने पर खरीद-फरोख्त का खतरा था.

ना केवल कांग्रेस पार्टी विधायकों, बल्कि शिवसेना को भी लुभाया जा रहा था, जोकि बीजेपी की गठबंधन सहयोगी है. शिवसेना को भी खतरा महसूस हो रहा है इसलिए वह भी अपने विधायकों को रिजार्ट में भेज रही है. गहलोत ने बोला कि सभी जानते हैं कि बीजेपी ने गोवा  मणिपुर में सरकारें कैसे बनाई हैं. कुछ कांग्रेस पार्टी विधायक आमेर किले में तो अन्य को कड़ी निगरानी में बुएना विस्टा रिजॉर्ट में ठहराया गया है.