अब चीन के निशाने पर आया ये देश, कर सकता है हमला…

आपको बता दें कि चीन ने भी म्यांमार में महत्वपूर्ण रूप से पैठ बना रखी है। इसमें म्यांमार में सड़क, पुल समेत बुनियादी ढांचों के निर्माण, हाइड्रोकार्बन, ऊर्जा और बंदरगाह क्षेत्र के विकास भी शामिल हैं।

 

चीन को म्यांमार सरकार ने पहले ही क्यायूकप्यू पोर्ट विकसित करने का ठेका दिया है। हालांकि, म्यांमार के नेतृत्व ने साफ तौर पर कहा है कि चीन से कोई भी समझौता भारत से द्विपक्षीय रिश्तों को दरकिनार करते हुए नहीं किया जाएगा।

चीन ने शी जिनपिंग के महत्वकांक्षी मिशन बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव (बीआरआई) के तहत म्यांमार को अरबों डॉलर का कर्ज दिया है। जब इस परियोजना को शुरू करने के लिए चीन ने म्यांमार से बातचीत की तो उसने इसे चीन-म्यांमार-बांग्लादेश-भारत इकोनॉमिक कॉरिडोर का नाम दिया।

चीन ने म्यांमार को सपने दिखाते हुए कहा था कि इस परियोजना से न केवल उसके देश में इंफ्रास्टक्टचर का विकास होगा बल्कि आर्थिक स्थिति भी मजबूत होगी।

चीन ने म्यांमार को अरबों डॉलर का कर्ज दिया हुआ है। भारत के साथ म्यांमार के मजबूतों होते संबंधों के बीच चीन इस देश को दिए गए लोन की समीक्षा शुरू कर दी है।

चीन ने म्यांमार में लगभग 100 बिलियन डॉलर (73,83,41,50,00,000 अरब रुपये) से ज्यादा का निवेश किया है। इसके तहत वह म्यांमार में 38 परियोजनाओं को बनाने की प्लानिंग कर रहा है, हालांकि अभी तक उसे दो ही परियोजनाओं के लिए स्वीकृति मिल पाई है।

भारत को घेरने के लिए चीन कुछ भी करने के लिए तैयारी है। भारत को घेरने के लिए चीन पिछले कई साल से बड़े पैमाने पर पड़ोसी देशों में निवेश कर रहा है। भारत पर दवाब बनाने के लिए श्रीलंका के बाद अब चीन की म्यांमार पर नजर है। श्रीलंका पर तो चीन का कर्ज इतना बढ़ गया कि उसे अपना हंबनटोटा पोर्ट की लीज पर देना पड़ा। श्रीलंका के बाद अब म्यांमार चीन के निशाने पर है।