जानिए भारत के ऐसे शिवलिंग जो बदलते है अपना रंग, वजह जानकर हो जायेंगे हैरान

यह कालेश्वर महादेव मंदिर उत्तर प्रदेश के घाटमपुर तहसील में स्थित है। ऐसी प्रथा है कि सूर्य की किरणों से इस मंदिर का शिवलिंग भी तीन बार अपना रंग परिवर्तित होता है।

यह लिलौटी नाथ शिव मंदिर यूपी के पीलीभीत शहर में स्थित है। ऐसी प्रथा है कि इस शिव मंदिर की स्थापना महाभारत काल में गुरु द्रोणाचार्य के पुत्र अश्वत्थामा ने किया था। यह शिवलिंग भी दिन में तीन बार अपना रंग परिवर्तित करता है।

जिसके तहत प्रातः के वक़्त शिवलिंग का रंग काला, दोपहर के समय भूरा तथा रात में शिवलिंग का रंग हल्का सफ़ेद हो जाता है। इस मंदिर के बारे में यह भी प्रथा है कि आज भी आधी रात के चलते इस मंदिर में पूजा करने के लिए अश्वत्थामा तथा आल्हा-उदल आते हैं.

एवं जब वे आते हैं तो अचानक बिजली कड़कने लगती है तथा बिना मौसम के ही वर्षा होने लगती है। बिहार का यह दुल्हन शिवालय नालंदा शहर में स्थित है। इस मंदिर के शिवलिंग का भी कलर सूर्य के प्रकाश के अनुसार घटता-बढ़ता रहता है।

नर्मदेश्वर महादेव का यह मंदिर यूपी के लखीमपुर खीरी शहर में स्थित है। ऐसी प्रथा है कि इस मंदिर का शिवलिंग भी अपना रंग बदलता है। इस मंदिर की एक बड़ी विशेषता यह भी है कि यह मंदिर भारत का अकेला ऐसा मंदिर है जिसमें मेंढक की आराधना की जाती है। इस मंदिर में महादेव मेंढक की पीठ पर विराजमान हैं।

यह अचलेश्वर महादेव मंदिर राजस्थान के धौलपुर में है। ऐसी प्रथा है कि इस मंदिर का शिवलिंग दिन में तीन बार अपना रंग परिवर्तित करते है।

जिसके तहत प्रातः के वक़्त शिवलिंग का रंग लाल, दोपहर के वक़्त केसरिया जबकि शाम के वक़्त के शिवलिंग श्यामा रंग हो जाता है। इस मंदिर के शिवलिंग का रंग परिवर्तित होना आज भी एक गुत्थी बना हुआ है।

देश में महादेव के कई ऐसे मंदिर हैं जो किसी न किसी चमत्कार के लिए लोकप्रिय हैं। महादेव के इन्हीं चमत्कारों को देखने के लिए ही श्रद्धालु यहां आते हैं।