सर्दियों में स्किन का इस तरह रखे ध्यान नहीं होगी कोई परेशानी

त्वचा को अच्छे से मॉइश्चराइज करने का मतलब है स्कीन की तमाम परेशानियों से दूर रहना. ऐसे में क्या कभी सोचा है कि स्किन के लिए मॉइश्चराइजर की भी ओवरडोज हो सकती है? साथ ही ऐसा होने पर स्कीन को क्या क्या नुकसान होने कि सम्भावना है? तो चलिए आज इन सभी सवालों के जवाब ढूंढते हैं. कई बार हम चेहरे पर भी मॉइश्चराइजर ज्यादा लगा लेते हैं जिससे चेहरे की स्कीन हेल्दी बनने के बजाए  ज्यादा बिगड़ जाती है. दरअसल मॉइश्चराइजर का फॉर्म्युला बहुत गाढ़ा होता है, इसलिए उसकी जरा सी मात्रा में भी आपका कार्य हो जाएगा. स्कीन सरलता से सारा मॉइश्चराइजरर सोख लेगी जबकि इसकी ज्यादा मात्रा लगाने का कोई खास प्रभाव नहीं होता.

स्किन को मॉइश्चराइज करते समय यह ध्यान रखना बहुत महत्वपूर्ण है कि स्कीन हेल्दी बनी रहे. जबकि मॉइश्चराइजर की ज्यादा डोज स्किन को लाभ पहुंचाने के बजाय नुकसान पहुंचा सकती है. असल में मॉइश्चराइजर की ओवरडोज से स्कीन सुस्त, डल  थकी हुई सी महसूस होने लगती है. प्राकृतिक रूप से आपकी स्कीन सेबियम बनाती है, जिससे स्कीन में नमी बने रहने के साथ मॉइश्चराइज्ड भी रहती है. इतना ही नहीं, इससे स्किन का टेक्स्चर ठीक  स्कीन लचीली बनी रहती है. ऐसे में जब आप मॉइश्चराइजर ज्यादा मात्रा में लगा लेते हैं तो स्किन को हेल्दी बनाए रखने वाला ​सेबियम कम मात्रा में बनने लगता है. जैसा कि पहले ही बताया जा चुका है कि मॉइश्चराइजर एक ​गाढ़ा फार्मोल्युशन होता है. ऐसे में इसकी अधिकता से स्कीन के सभी पोर्स बंद होने लगते हैं  पिम्पल, ब्लैकहैड्स  डेड स्किन जैसी तमाम समस्याओं से गुजरना पड़ता है. इ​सलिए बेहतर होगा कि आप कभी भी मॉइश्चराइजर को ज्यादा मात्रा में न लगाएं.

ओवरमॉइश्चराइजर के लक्षण चूंकि अब हम जान चुके हैं कि कभी कभी हम चेहरे को ओवरमॉइश्चराइज भी कर देते हैं तो ऐसे में इसके लक्षणों को जानना भी महत्वपूर्ण है ताकि हम ठीक टाइम पर इसका ट्रीटमेंट कर सकें. मॉइश्चराइजर की अधिकता के कारण, आपके चेहरे पर मेकअप ठीक ढंग से टिकता नहीं है. स्कीन उत्तेजित होने लगती है, साथ ही स्किन बहुत धीरे धीरे किसी भी स्किन केयर प्रोडक्ट को सोख नहीं पाती है.