इस दौरान व्रत रखने और भोले शंकर का नाम लेने से ही अच्छे हो जाते इंसान के सारे कर्म

सनातन धर्म के पंचांग के मुताबिक हर महीने त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत रखा जाता है. कहा जाता है कि इस दिन भगवान शिव की पूजा अर्चना करने से सभी मनोकामनाएं पूरी हो जाती हैं और घर में सुख-समृद्धि के योग बनते हैं. आज पौष माह के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी है, इसलिए आज नए साल 2023 का पहला बुध प्रदोष व्रत भी मनाया जाएगा. इस बार बुध प्रदोष व्रत (Budh Pradosh Vrat 2023) पर रवि योग समेत 3 शुभ योग बन रहे हैं, जिससे पूजा करने वालों को 3 गुना ज्यादा पुण्य फल की प्राप्ति होगी.

ज्योतिष शास्त्रियों के मुताबिक पौष शुक्ल त्रयोदशी तिथि मंगलवार रात 10 बजकर 01 मिनट से शुरू होकर बुधवार 4 जनवरी की रात 12 बजे तक रहेगी. इस दौरान बुधवार शाम 5:37 बजे से लेकर रात 8:21 बजे तक भगवान शिव की पूजा का शुभ मुहूर्त (Pradosh Vrat January 2023 Auspicious Time) रहेगा. इस शुभ मुहूर्त में भोले शंकर की पूजा करने से वे अपने भक्तों पर प्रसन्न होते हैं और अपने नाम के अनुरूप जातकों पर जमकर कृपा बरसाते हैं.

आज बुध प्रदोष व्रत (Pradosh Vrat January 2023) वाले दिन 3 शुभ योग भी बन रहे हैं. आज सुबह 7:08 बजे से रवि योग बन रहा है. इसका समापन सुबह 9:16 बजे हो जाएगा. सूर्य देव को समर्पित इस योग में उनके प्रभाव से सारे कार्य सफल होते जाते हैं. आज सुबह से लेकर दोपहर 1:53 बजे तक प्रीति योग बन रहा है. इसके बाद आयुष्मान योग शुरू हो जाएगा, जो गुरुवार सुबह तक रहेगा. ये दोनों योग भी बहुत शुभ माने जाते हैं. इस दौरान व्रत रखना और भोले शंकर का नाम लेने से इंसान के सारे कर्म अच्छे हो जाते हैं.

धार्मिक विद्वानों के मुताबिक प्रदोष व्रत (Pradosh Vrat January 2023) रखने से एक नहीं बल्कि कई लाभ हैं. इस दिन व्रत रखने से चंद्रमा से जुड़े सभी दोष दूर हो जाते हैं. भगवान शिव की विधिपूर्वक पूजा करने से सभी प्रकार के ग्रह दोष और असाध्य रोग दूर हो जाते हैं. जिन लोगों के काम पूरे होते-होते अटक जाते हैं, उन्हें भी भगवान शिव की कृपा से जीवन में बहुत कामयाबी मिलती हैं.