DCP विक्रम कपूर सुसाइड केस में नया खुलासा डेढ़ माह से कर रहा था ब्लैकमेल ,एसएचओ

फरीदाबाद के डीसीपी एनआईटी विक्रम कपूर सुसाइड केस में एक नया खुलासा हुआ है. जाँच में पता चला है कि भूपानी थाना एसएचओ समेत दोनों आरोपी डीसीपी एनआईटी विक्रम कपूर को करीब डेढ़ माह से ब्लैकमेल कर रहा था. इस वजह से वह मानसिक तनाव में चल रहे थे. यह खुलासा सुसाइड नोट से हुआ है. हालांकि कई घंटे की पूछताछ के बाद भी आत्महत्या का कारण सामने नहीं आया है. एसएचओ पर गिरफ्तारी की तलवार लटकी हुई है. वहीं इस मुद्दे में दूसरा आरोपी फरार है.

डीसीपी एनआईटी बुधवार प्रातः काल पांच बजे उठकर सैर करने पार्क चले गए थे. करीब 5:30 बजे पर एसजीएम नगर थाना एसएचओ का उनके पास फोन आया था. एसएचओ ने उन्हें अपने इलाके में हुई मर्डर के बारे में बताया था. करीब 6:00 बजे उन्होंने सर्विस पिस्तौल से गोली मारकर आत्महत्या कर ली. गोली की आवाज सुनकर उनकी पत्नी अपने कमरे से  बेटा प्रथम तल में अपने कमरे से दौड़कर ड्राइंग रूम की ओर दौड़े. वहां डीसीपी का खून से लथपथ मृत शरीर देखकर उनकी चीख निकल पड़ी.

सूचना मिलने के बाद पुलिस आयुक्त संजय कुमार, डीसीपी अपराध राजेश कुमार, एसीपी सराय ख्वाजा मौजीराम सहित कई पुलिस ऑफिसर मौके पर पहुंच गए. फॉरेंसिक साइंस प्रयोगशाला की टीम को मौके पर बुलाया गया. फॉरेंसिक टीम ने करीब दो घंटे तक पूरी जाँच पड़ताल की. धीरे-धीरे सारे शहर में समाचार फैल गई. इसके बाद शहर के उद्योगपतियों नेताओं के आने का भी सिलसिला प्रारम्भ हो गया. बड़खल की विधायक सीमा त्रिखा भी शोक जताने के लिए डीसीपी आवास पर पहुंची.

इस बीच सुसाइड नोट की बात सामने आने पर क्राइम जाँच शाखा मुख्यालय  क्राइम जाँच शाखा डीएलएफ की टीम सक्रिय हो गईं. उन्होंने सुसाइड नोट के आधार पर भूपानी थाना एसएचओ अब्दुल शाहिद से पूछताछ करनी प्रारम्भ कर दी. वहीं एक टीम ने इस मुद्दे में आरोपी सतीश मलिक के घर पर दबिश दी. मगर, घर पर न होने के कारण पुलिस वापस लौट आई. पुलिस की जाँच टीम को अभी डीसीपी एनआईटी का मोबाइल फोन नहीं मिल सका है.