भारत और चीन के बीच 9 अप्रैल को होगा ये , कही बिगड़ न जाए हालात

हालांकि, रक्षा मंत्रालय ने पहले ही साफ कर दिया था कि आगे होने वाली मुलाकातों में गोगरा, हॉट स्प्रिंग्स और देपसांग मैदानों समेत जारी ‘समस्य़ाओं’ पर बात की जाएगी.

5 मई 2020 में पेंगोन्ग झील इलाके में भारत और चीन सेना के बीच झड़प हो गई थी. इसके बाद से ही दोनों देशों ने क्षेत्र में अपनी ताकत बढ़ाना शुरू कर दिया था. हालांकि, हजारों जवानों और हथियारों की तैनाती की बाद भी दोनों देशों के बीच कूटनीतिक और सैन्य स्तर की बातचीत जारी थी.

भारतीय सेना देपसांग में लंबे समय से चलते आ रहे पैट्रोलिंग के मुद्दे को भी सुलझाना चाहता है.  2013 में पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (चीनी सेना) के साथ हुई झड़प के बाद यहां तनाव बढ़ गया था. दोनों देशों ने आपसी रजामंदी से डिसइंगेजमेंट प्रक्रिया शुरू की थी. केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने संसद में बताया था कि इस समझौते से भारतीय पक्ष को कोई नुकसान नहीं हुआ है.

भारत और चीन के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा (India-China LAC Rift) पर तनाव घटाने की कोशिशें जारी हैं. अब दोनों देशों के बीच 11वें दौर की चर्चा 9 अप्रैल को हो सकती है.

इस दौरान गोगरा (Gogra), हॉट स्प्रिंग्स (Hot Springs) और देपसांग (Depsang) मैदानों से डिसइंगेजमेंट प्रक्रिया को लेकर बातचीत होगी.

इससे पहले भारत-चीन के बीच 10वें दौर की कमांडर स्तर की बातचीत 21 फरवरी को हुई थी. तब मुलाकात करीब 16 घंटे चली थी. खास बात है कि दोनों देशों के बीच डिसइंगेजमेंट प्रक्रिया बीती 10 फरवरी से शुरू हो गई है.