अयोध्या फैसले पर सभी स्कूल और कॉलेजों में अवकाश घोषित

अंग्रेजों के समय से लंबित अयोध्या मसले का फैसला कल यानी शनिवार सुबह सुनाया जायेगा। छुट्टी के दिन फैसला सुनाये जाने का ऐलान करके सुप्रीम कोर्ट ने सभी को चौंका दिया है। सप्ताह के आखिरी दिन ऑफिस ऑवर्स खत्म हो जाने तक नोटिस बोर्ड पर कोई सूचना ने देखकर मीडिया ने भी मान लिया था कि अब फैसला अगले हफ्ते ही आयेगा। बहरहाल, सर्जिकल स्ट्राइक की जुडीशियल स्ट्राइक जैसा करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने देर शाम अयोध्या पर फैसला सुनाने का ऐलान कर ही दिया। सुप्रीम कोर्ट के इस एक्शन के तुरंत बाद उत्तर प्रदेश में पुलिस और अर्द्धसैन्य बलअयोध्या सहित सभी संवेदनशील शहरों और कस्बों में तैनात हो गये हैं। उत्तर प्रदेश के अलावा महाराष्ट्र के मुंबई समेत कई शहरों में कानून-व्यवस्था बनाये रखने के लिए पुलिस और सुरक्षाबल सतर्क हो गये हैं।

ध्यान रहे, सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय संवैधानिक बेंच ने लगातार 40 दिनों तक सुनवाई की थी। चीफ जस्टिस रंजन गोगोई के अलावा जस्टिस शरद अरविंद बोबडे, जस्टिस अशोक भूषण, जस्टिस डीवाय चंद्रचूड़ और जस्टिस एस अब्दुल नजीर भी इस पीठ में शामिल रहे। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मद्देनजर उत्तर प्रदेश में सुबह सभी स्कूल और कॉलेजों में अवकाश घोषित कर दिया गया। अयोध्या को चारों ओर से सील कर दिया गया है। आपातकालीन परिस्थितियों को छोड़कर किसी भी व्यक्ति को अयोध्या में प्रवेश की इजाजत नहीं दी जा रही है।

अयोध्या के फैसले के मद्देनजर सरकार और सभी समुदायों के धर्मगुरुओं ने भी शांति और सौैहर्द्र बनाये रखने की अपील जारी कीं हैं।

उत्तर प्रदेश के संवेदनशील शहरों में पुलिस ने सैंकड़ों लोगों को ऐहतियातन हिरासत में ले लिया है, कुछ से बॉंड भरवाये जा रहे हैं। सभी से अपील की जा रही है कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला कुछ भी हो लेकिन शांति व्यवस्था हर हाल में बनी रहनी चाहिए।  उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी देर रात  एक वक्तव्य जारी कर प्रदेश में अमन-चैन बनाये रखने की अपील की है। साथ ही चेतावनी भी दी है कि सोशल मीडिया पर अफवाहें फैलाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जायेगी। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा है कि अयोध्या के बारे में जब तक प्रशासन कोई बयान जारी न करे तब तक किसी भी अपुष्ट सूचना या जानकारी पर अपनी प्रतिक्रिया न दें।