पाकिस्तान में पड़े रोटी के लाले, बाजारो से गायब हुआ ये…

इस बीच खैबर पख्तूनख्वा के नान बनाने वालों ने हड़ताल पर जाने की चेतावनी दे दी है. उनका कहना है कि महंगी दर पर आटा खरीदने के बाद वे पहले वाली कीमतों पर नान रोटी की बिक्री नहीं कर सकते हैं.

 

आटे की किल्लत तब सामने आई है जब वजीर-ए-आजम इमरान खान ने खाद्य पदार्थों की कीमतों में कमी लाने के साथ मुनाफाखोरों कालाबाजारी करने वालों पर लगाम कसने के निर्देश दिए थे.

आटे की किल्लत से पाकिस्तान के चारों प्रांत जूझ रहे हैं. यह अलग बात है कि आटे की गंभीर किल्लत के बीच एक-दूसरे को दोषी ठहराने का सिलसिला भी शुरू हो चुका है.

केंद्र सरकार की तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी समेत पंजाब खैबर पख्तूनख्वा की सरकार ने पाकिस्तान पिपुल्स पार्टी शासित सिंध की सरकार को इस किल्लत के लिए जिम्मेदार ठहराया है. यह अलग बात है कि सिंध सरकार केंद्र को जिम्मेदार ठहरा रही है.

इस बीच रेस्तरां संचालकों के संगठन ने सरकार से कहा है कि वह पुराने रेट पर आटा मुहैया कराए या फिर उन्हें नान रोटी की कीमतों को बढ़ाने की इजाजत दे. उन्होंने इमरान खान सरकार को आटे की कीमतें कम करने के लिए 5 दिनों का अल्टीमेटम दिया है.

चहुंओर महंगाई के बीच  में अब रोटियों के लाले भी पड़ गए हैं. देश भर में आटे की जबर्दस्त किल्लत हो गई है. नतीजतन आटे के भाव आसमान छूने लगे हैं. खास बात यह है कि  सरकार इस किल्लत को दूर करने के बजाय आरोप-प्रत्यारोप के खेल में शामिल हो गई है.