चीनी जहाज इस देश मे जा सकेगे मछली पकड़ने, मछुआरों में मचा हड़कंप

चीन के अरबों डॉलर के निवेश के बावजूद, स्थानीय लोग वंचित महसूस कर रहे हैं। अब, विशाल मछली पकड़ने वाले चीनी जहाजों के आने से वे पूरी तरह से कुचले हुए या दबाए हुए महसूस कर रहे हैं। उनकी चिंता इसलिए भी बढ़ रही है, क्योंकि चीनी जहाज कोई साधारण नौकाएं नहीं हैं। ये इस तरह की फैक्ट्री शिप हैं।

चूंकि चीनी जहाजों ने अपने बड़े पैमाने पर संचालन शुरू कर दिया है, न केवल बलूचिस्तान में बल्कि पाकिस्तान के लगभग 1,000 किलोमीटर के तट पर मछुआरे अब अपनी आजीविका के लिए परेशान हैं। चीनियों ने पाकिस्तानी समुद्र तट को तहस-नहस कर दिया है।

पाकिस्तानी अखबार डॉन ने बताया कि सैकड़ों मछुआरों, राजनीतिक एक्टिविस्ट और नागरिक समाज के सदस्यों ने ग्वादर में चीन के मछली पकड़ने वाले जहाजों को मछली पकड़ने का अधिकार देने के लिए संघीय सरकार के खिलाफ एक विरोध रैली का मंचन किया। नेशनल पार्टी और बलूच छात्र संगठन ने विरोध का आह्वान किया था।

सरकार के इस कदम के खिलाफ ग्वादर प्रेस क्लब के सामने रैली और धरना प्रदर्शन किए गए। इस कदम से बलूच के मछुआरे अपने आप को दोगुना ठगा हुआ महसूस कर रहे हैं। उन्हें पहले सुरक्षा चिंताओं के कारण चीन द्वारा संचालित ग्वादर बंदरगाह के लिए उनकी भूमि से विस्थापित किया गया था।

पाकिस्तान ने बलूचिस्तान में ग्वादर बंदरगाह के पास अरब सागर में चीन को मछली पकड़ने का अधिकार दिया है। इसके बाद अब बलूच तट पर समुद्र सैकड़ों चीनी मछली पकड़ने वाली नौकाओं से भरा हुआ है। पाकिस्तान ने ग्वादर में चीन के मछली पकड़ने वाले जहाजों को लाइसेंस दे दिया है, जिससे अब स्थानीय मछुआरों में आक्रोश पैदा हो गया है।