अमेरिका की संसद ने म्यांमार में रोहिंग्या मुस्लिमों के विरूद्ध क्राइम को नरसंहार घोषित करने वाले एक गैर बाध्यकारी प्रस्ताव को पारित कर दिया। प्रतिनिधि सभा ने बृहस्पतिवार को एक के मुकाबले 394 मतों से इस प्रस्ताव को पारित कर दिया।
विदेश मंत्रालय ने म्यांमार के रखाइन प्रांत में रोहिंग्या मुस्लिमों के विरूद्ध व्यापक पैमाने पर कथित हिंसा पर एक रिपोर्ट जारी की थी जिसके कुछ महीने बाद अमेरिकी प्रतिनिधि सभा ने यह कदम उठाया। इस हिंसा के चलते 7,00,000 से अधिक रोहिंग्याओं को अपने घरों को छोड़कर बांग्लादेश भागना पड़ा।
सदन की विदेश मामलों की समिति के चेयरमैन एड रॉयसे ने कहा, ‘‘अमेरिका पर इन अपराधों को नरसंहार घोषित करने का नैतिक दायित्व है। ऐसा ना करने से दोषियों का बचाव होगा व उन्हें सजा देने की कोशिशें अवरुद्ध होंगी। इस प्रस्ताव के साथ सदन ने अपना कर्तव्य निभा दिया है। ’’ रॉयसे ने अनुरोध किया कि इस प्रस्ताव के बाद अमेरिकी गवर्नमेंट बर्मा गवर्नमेंट पर व अधिक दबाए बनाए।
उन्होंने कहा, ‘‘केवल प्रतिबंध लगाकर नहीं बल्कि आंतरिक रूप से दबाव भी बढ़ाए। हम सोशल मीडिया, रेडियो, टेलीविजन का प्रयोग कर राष्ट्र के भीतर मौजूद लोगों को बता सकते हैं कि वास्तव में क्या हो रहा है क्योंकि उनकी गवर्नमेंट उन्हें गलत सूचनाएं दे रही है। ’’