एक अन्य महत्वपूर्ण घटनाक्रम में अमेरिका और युरोपिय संघ ने चीन से उत्पन्न खतरे के मद्देनजर विचार-विमर्श का क्रम शुरु करने का फैसला किया है। इसके जरिए चीन के खिलाफ एक साझा रणनीति तैयार करने का प्रयास होगा।
उन्होंने कहा कि भारत ही नहीं वियतनाम, मलेशिया, इंडोनेशिया, फिलिपिंस और दक्षिण चीन सागर में चीन की पीयुप्लस लिबरेशन आर्मी से खतरा उत्पन्न हुआ है। इस सिलसिले में उन्होंने भारत-चीन सीमा पर हुए हिंसक सैन्य संघर्ष की चर्चा की।
अमेरिका के विदेश मंत्री माइक पोंपियो ने कहा है कि चीन से भारत और दक्षिण पूर्व एशिया के देशों को खतरा है जिसके मद्देनजर अमेरिका इस क्षेत्र में अपने सैनिकों की पर्याप्त तैनाती के लिए कदम उठाएगा।