मोदी सरकार की कैबिनेट बैठक में यस बैंक के संकट पर चर्चा हुई, जिसमें यस बैंक के लिए SBI के प्लान को कैबिनेट में मंजूरी दे दी गयी। बता दें कि इस बाबत 11 मार्च को केंद्रीय बोर्ड की कार्यकारी समिति की बैठक हुई थी।
जिसमें यह तय किया गया कि एसबीआई 10 रुपये प्रति शेयर की दर से यस बैंक के 725 करोड़ शेयर खरीदेगा। इस निवेश के बाद यस बैंक में एसबीआई की हिस्सेदारी उसकी कुल भुगता पूंजी के 49 प्रतिशत से ऊपर नहीं जाएगी।
वहीं आरबीआई ने भी यस बैंक को लेकर प्लान का ड्राफ्ट तैयार किया था। जिसके मुताबिक़ कहा गया कि कि SBI यस बैंक में निवेश के साथ ही उसके रिकन्स्ट्रक्शन में भी भाग लेगा।
वहीं यस बैंक के सभी कर्मचारियों को मौजूदा पे स्केल पर ही सैलरी मिलेगी। यह व्यवस्था कर्मचारियों को अगले 1 साल के लिए ही रहेगी।
आरबीआई ने कहा कि यस बैंक के लिए प्रस्ताव लाया गया है कि नए बैंर विवाद पर राजनीति: अब दंगाइयों के साथ लगी BJP नेताओं की तस्वीरेंक में निवेश करने वाला बैंक अपने हिस्सेदारी को 26 फीसदी से कम नहीं करेगा। इन्फ्युजन की तारीख से अगले 3 साल के लिए यह अनिवार्यता होगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में शुक्रवार को हुई केन्द्रीय कैबिनेट बैठक हुई, जिसमें यस बैंक संकट को उबारने से जुड़े फैसले को मंजूरी मिल गयी।
दरअसल, भारतीय स्टेट बैंक यस बैंक में 7,250 करोड़ रुपये का निवेश करना चाहता है, जिसे मोदी सरकार ने मंजूरी दे दी। बता दें कि, एसबीआई ने इस बाबत पहले ही एलान किया था कि वह यस बैंक के शेयर खरीदना चाहता है।
इस बाबत आरबीआई संग एसबीआई ने बैठक भी की थी। वहीं अब इस सौदे को नियामकीय मंजूरियां मिलनी शेष बाकी रह गयी हैं।