अखिलेश यादव ने केंद्र सरकार पर साधा निशाना, कहा खुद को ठेके पर…

आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने नौकरशाही में नई प्रतिभा लाने के मकसद से बड़ा कदम उठाया है। सीधे नियुक्ति का मतलब यह है कि प्राइवेट सेक्टर के विशेषज्ञों की सरकारी विभागों में उच्च पदों पर भर्ती।

आप जानते ही होंगे आमतौर पर संयुक्त सचिव और डायरेक्टर के पद के लिए संघ लोक सेवा आयोग परीक्षा का आयोजन करता है। जी दरअसल सिविल सेवा परीक्षा और अन्य विभागों की तरफ से आयोजित परीक्षाओं में चुने गए अधिकारियों को इन पदों पर नियुक्त किया जाता है।

ऐसे में अब कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग की तरफ से केंद्र की जरूरतों के अनुसार भारतीय नागरिकों से कॉन्ट्रैक्ट आधार पर सरकार में शामिल होने के लिए आवेदन मांगे जाते हैं।

जी दरअसल अखिलेश यादव ने यह आरोप लगाया है कि, ‘इसके जरिये भाजपा अपने लोगों को खुलेआम ला रही है, लेकिन जो लोग सालों-साल सिविल सर्विसेज की तैयारी करते हैं, उनका क्या होगा।’

इसके अलावा अखिलेश यादव ने यह भी तंज कसा है कि, ‘भाजपा से अब देश संभल नहीं रहा है, सरकार अब खुद को ठेके पर रख दे।’ आप देख सकते हैं उन्होंने एक ट्वीट किया है और इस ट्वीट में उन्होंने लिखा है.

‘भाजपा खुले आम अपनों को लाने के लिए पिछला दरवाज़ा खोल रही है और जो अभ्यर्थी सालों-साल मेहनत करते हैं उनका क्या। भाजपा सरकार अब ख़ुद को भी ठेके पर देकर विश्व भ्रमण पर निकल जाए वैसे भी उनसे देश नहीं संभल रहा है।’

केंद्र सरकार ने विभिन्न सरकारी विभागों में संयुक्त सचिव और निदेशक जैसे प्रमुख पदों पर निजी क्षेत्र के विशेषज्ञों को लेट्रल एंट्री करने का फैसला सुनाया है।

जी दरअसल लेट्रल एंट्री भर्ती के लिए नोटिफिकेशन जारी हो चुका है। ऐसे में अब इसे लेकर समाजवादी पार्टी प्रमुख और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने निशाना साधा है।

कार्मिक मंत्रालय साल 2018 से सीधे नियुक्ति की प्रक्रिया के जरिये आवेदन आमंत्रित कर रहा है। अब इसी बीच अखिलेश यादव ने केंद्र सरकार के इस फैसले पर सवाल उठाया है।