TMC के 16 सांसद अमित शाह से करना चाहते है मुलाक़ात , जानिए क्या है मामला

त्रिपुरा में कथित पुलिस की बर्बरता के खिलाफ तृणमूल कांग्रेस के सांसदों का प्रतिनिधिमंडल दिल्ली आ पहुंचा है और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह से मुलाकात की मांग पर अड़ा है।

त्रिपुरा में कथित पुलिस बर्बरता को लेकर तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के सांसदों के एक प्रतिनिधिमंडल ने सोमवार को दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्रालय के बाहर धरना दिया और अब भी डटे हुए हैं। इस धरने में टीएमसी के 16 सांसद शामिल हैं। प्रदर्शनकारी सांसद तृणमूल युवा कांग्रेस अध्यक्ष सयोनी घोष की गिरफ्तारी और त्रिपुरा में पार्टी नेताओं पर हमले के खिलाफ केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मिलने का समय मांग रहे हैं।

ममता बनर्जी के दिल्ली दौरे से पहले टीएमसी सांसद डेरेक ओ ब्रायन, सुखेंदु शेखर रॉय, शांतनु सेन और माला रॉय सहित कुल 16 सांसद आज राजधानी दिल्ली पहुंचे हैं और लगातार अमित शाह से मिलने का वक्त मांग रहे हैं। बता दें कि त्रिपुरा के मुख्यमंत्री बिप्लब देव की मौजूदगी में एक पब्लिक मीटिंग के दौरान कथित तौ पर हंगामा करने के आरोप में सयोनी घोष को त्रिपुरा पुलिस ने रविवार को गिरफ्तार किया था।

घोष की गिरफ्तारी के तुरंत बाद कुछ टीएमसी कार्यकर्ताओं ने आरोप लगाया कि पूर्वी अगरतल्ला में महिला थाने में जहां घोष से पूछताछ की जा रही थी, वहीं भाजपा कार्यकर्ताओं ने हमला किया। हालांकि, भाजपा ने इन आरोपों को खारिज किया है और कहा कि टीएमसी त्रिपुरा में शांति भंग करने की कोशिश कर रही है।

इधर, सुप्रीम कोर्ट ने तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) पार्टी की उस याचिका पर 23 नवंबर को सुनवाई करने के लिए सोमवार को सहमति जताई, जिसमें आगामी स्थानीय निकाय चुनावों से पहले विपक्षी दलों के खिलाफ हिंसक घटनाओं को रोकने में विफल रहने के लिए त्रिपुरा सरकार और अन्य के खिलाफ अवमानना कार्रवाई का अनुरोध किया गया है। न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना की पीठ ने कहा कि याचिका पर मंगलवार को सुनवाई की जायेगी।

इससे पहले, टीएमसी की तरफ से पेश अधिवक्ता अमर दवे ने कहा कि न्यायालय के 11 नवंबर के आदेश के बावजूद राज्य में स्थिति बिगड़ती जा रही है। उन्होंने कहा, ‘कल एक घटना हुई थी। राज्य में स्थिति बहुत अस्थिर है और यह बद से बदतर होती चली गई है। स्थिति दिनों दिन बिगड़ती जा रही है।’ उन्होंने यह भी कहा कि बार-बार हिंसा की घटनाएं हो रही हैं और उनके सदस्यों के खिलाफ झूठे मामले दर्ज किए जा रहे हैं, इसलिए अवमानना कार्रवाई की याचिका दायर की गई है।

पीठ के यह पूछने पर कि क्या याचिका दायर की गई है, दवे ने कहा कि यह दायर किए जाने की प्रक्रिया में है और एक बार सूची में दर्ज हो जाए, वह इसे अदालत को प्रदान करेंगे। इसने कहा, ‘ठीक है, हम मंगलवार को इसपर सुनवाई करेंगे। एक बार याचिका सूची में दर्ज हो जाए, आप इसके ब्योरे कोर्ट मास्टर को दे दें।’

शीर्ष अदालत ने 11 नवंबर को त्रिपुरा सरकार को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया था कि राज्य के स्थानीय निकाय चुनावों के लिए टीएमसी सहित किसा भी राजनीतिक दल को कानून के अनुसार चुनावी अधिकारों का इस्तेमाल करने और शांतिपूर्ण एवं व्यवस्थित रूप से प्रचार करने से नहीं रोका जाएगा। शीर्ष अदालत ने राज्य सरकार को नगर निगम चुनावों में राजनीतिक भागीदारी के निर्बाध अधिकार के लिए कानून-व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए उचित व्यवस्था करने का भी निर्देश दिया था।