इस वर्ष हरतालिका तीज व्रत की तिथि को लेकर कुछ असमंजस रहती है। इस बार भी कुछ ऐसा ही है। इसे कुछ महिलाएं जहां इसे 1 सितंबर रविवार को मना रही हैं वहीं कुछ महिलाएं इसे 2 सितंबर सोमवार को। हरतालिका तीज में सुहागिन महिलाएं सोलह शृंगार करती हैं व पति की लंबी आयु के लिए व्रत रखती हैं। इस दौरान वो ना तो कुछ खाती हैं व ना ही कुछ पीती हैं। ऐसे में उन्हें अपना खास ध्यान देना पड़ता है। ऐसे में अगर आप प्रेग्नेंट हैं व व्रत रखने के बारे में सोच रही हैं, तो आपको निर्जल व्रत तो बिलकुल नहीं रखना चाहिए। इसी के साथ ही कुछ खास सावधानियां भी बरतें, यहां जानें।
पहले लें चिकित्सक से सलाह
जब भी व्रत रखने की बात आती है तो गर्भवती स्त्रियों को विशेष सावधानी बरतने की सलाह इसलिए दी जाती है क्योंकि गर्भावस्था के दौरान महिला के शरीर को पोषण की सबसे ज्यादा जरूरत होती है। व्रत के दौरान कई चीजों को खाने-पीने की मनाही होती है। गर्भवती महिला का शरीर व होने वाले बच्चे पर किसी तरह का बुरा प्रभाव ना पड़े इसके लिए चिकित्सक से सलाह लेने पर ही रखें व्रत।
पहली तिमाही में न रखें व्रत
अगर आपने तुरंत कंसीव किया है यानी गर्भावस्था के शुरुआती तीन महीनों में व्रत रखने से बचना चाहिए क्योंकि प्रेग्नेंसी के पहले तीन महीनों में ज्यादा देर तक भूखे रहने से जी मिचलाना, उल्टी आना व चक्कर आने का खतरा रहता है। हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें तो किसी तरह का कोई कॉम्प्लिकेशन न हो इसलिए इस व्रत को ना रखें।
जरूरी बातों का रखें ध्यान
– व्रत के हर दो घंटे में कुछ न कुछ जरूर खाएं जिससे शरीर को पर्याप्त मात्रा में पोषण मिलता रहे व कमजोरी न आए।
– व्रत के दौरान अधिक से अधिक पानी पिएं जिससे डिहाइड्रेशन की समस्या न हो। नारियल पानी, दूध व जूस पी सकते हैं।
– गर्भवती महिला व्रत के दौरान ज्यादा तली-भुनी चीजें व चाय कॉफी पीने से परहेज करें।
– गर्भवती महिला को निर्जला व्रत भी नहीं रखना चाहिए।
– व्रत के दौरान बच्चे की मूवमेंट का ध्यान रखें। तकलीफ होने पर डॉक्टर से तुरंत सलाह लें।