एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने ईवीएम व सर्जिकल स्ट्राइक का मसला उठाते हुए नरेन्द्र मोदी सरकार पर निशाना साधा है. पवार ने बोला है कि प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी ने पाकहमले की बात कर समाज में दरार पैदा करने का कोशिश किया.
चुनावों के दौरान हम नोटंबदी व 15 लाख की बात करते रहे, किन्तु बीजेपी राष्ट्रीय सुरक्षा पर जोर देती रही. लोग राष्ट्रवाद के बारे में चिंतित थे व इसलिए उन्होंने बीजेपी वोट दे दिया. चुनाव के बाद कोई भी इसके विषय में बात नहीं कर रहा है.
ईवीएम पर सवाल खड़े करते हुए शरद पवार ने बोला है कि ईवीएम जो वीवीपैट पर्ची दिखाती है, वह चुनाव ऑफिसर के समक्ष नहीं रखी जाती है. जो वोट गिने जाते हैं, वे दूसरी मशीन से होते हैं. तो जो आपको वीवीपैट में नज़र आते हैं, वह एक समान नहीं होने कि सम्भावना है. ईवीएम की सेटिंग के लिए दो कंपनियां काम करती हैं. हम दिल्ली में तकनीशियनों व विपक्षी दलों के साथ इस पर विचार विमर्श करेंगे.
पवार ने बोला है कि अगर लोगों को पता चलता है कि वे जो वोट दे रहे हैं वह उनके मनपसंद प्रत्याशी के लिए नहीं जा रहा है, तो वे अब विरोध पंजीकृत करा सकते हैं. ये लोग आगे जाकर कानून हाथ में ले सकते हैं. हमें ऐसा नहीं होने देना चाहिए. विशेष बात है कि इस दौरान पवार के भतीजे व पूर्व उपमुख्यमंत्री अजीत पवार ने ईवीएम पर उठ रहे सवालों का खंडन किया है.अजीत ने बोला कि जब हम पराजय जाते हैं तो हम ईवीएम पर गुनाह मढ़ देते हैं, किन्तु जब हम जीतते हैं तो हम इसका श्रेय लेते हैं. ये सरासर गलत है.