बताते चलें कि नर्सिंग का करियर युगों-युगों से चला आ रहा है परंतु इसे नर्सिंग प्रोफेशन के रूप में ख्याति महान अंग्रेज नर्स फ्लोरेंस नाइटेंगल के कार्यों से मिली. इन्हें ही मॉर्डन नर्सिंग प्रोफेशन का जनक माना जाता है. इसमें कोई दोमत नहीं है कि इन दिनों नर्सिंग एक उजले सेवापूर्ण करियर के रूप में उभरकर सामने आया है. नारी सेवा एवं त्याग की प्रतिमूर्ति होती है इसलिए नर्सिंग युवतियों के लिए सर्वाधिक उपयुक्त एवं निरापद करियर है. मानवसेवा की भावना रखने वाली युवतियों को इस क्षेत्र में अवश्य आना चाहिए. नर्स का काम मानवीय भावना से ओत-प्रोत काम है, जिसका कोई मूल्य निर्धारित नहीं किया जा सकता. नर्स का काम सुनने में जितना सहज एवं सरल लगता है, वास्तव में यह उतना ही उत्तरादायित्वपूर्ण काम है. यदि आप लगनशील हैं, आपमें दृढ़ इच्छाशक्ति है तथा रोगियों व दुखियों की सेवा करने का जूनून है व तनावपूर्ण परिस्थितियों में लंबे समय तक कार्य करने की क्षमता है तो नर्सिंग का करियर आपके लिए ही बना है. यह एक ऐसा करियर है जो गांवों की युवतियों से लेकर महानगरों की युवतियों तक करियर की एक समान संभावनाएं प्रस्तुत करता है.
देश में नर्सिंग काउंसिल में दर्ज़ नर्सों की संख्या 10.3 लाख
अमेरिका के ख्याति प्राप्त संगठन सेंटर फॉर डिजीज डायनामिक्स, इकोनॉमिक्स एंड पॉलिसी’ (सीडीडीईप) के द्वारा 14 अप्रैल, 2019 को जारी रिपोर्ट के मुताबिक हिंदुस्तान में 20 लाख नर्सों की कमी है. देश में नर्सिंग काउंसिल में दर्ज़ नर्सों की संख्या 10.3 लाख है. परंतु वास्तव में इनमें से केवल 4 लाख नर्सें ही देश में कार्यरत हैं. इनमें से ज्यादातर नर्स या तो सेवानिवृत्त हो चुकी हैं अथवा अच्छे वेतन की तलाश में विदेश चली गई हैं. इसलिए इस क्षेत्र में मांग एवं आपूर्ति में बहुत बड़ा अंतर निर्मित हो गया है. तेजी से बढ़ती जनसंख्या के साथ बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं की बढ़ती मांग के कारण देश में नर्सों की कभी न खत्म होने वाली मांग बन चुकी है तथा इस बढ़ती मांग की तुलना में आपूर्ति बहुत कम है. इसी रिपोर्ट से अनुमान लगाया जा सकता है कि नर्सिंग के क्षेत्र में रोजगार के कितने चमकीले मौका उत्पन्न हो गए हैं.
नर्सों की कार्यक्षमता के मुताबिक उनकी भूमिकाओं को निम्नलिखित प्रकार से विभाजित किया जा सकता है. जैसे हॉस्पिटल, नर्सिंग होम आदि में नसिंग का कार्य करने वाली यवतियों को जनरल नर्स बोला जाता है. इनके मुख्य काम में चिकित्सक के कार्य में सहयोग, मरीजों की देखभाल, प्रशासनिक जिम्मेदारियां आदि शामिल होती हैं. न केवल रोगियों को स्वस्थ करने में अपितु उनके प्राणों की रक्षा करने में भी जनरल नर्स की जरूरी किरदार होती है. एक कुशल जनरल नर्स रोगियों की भावनाओं तथा मनोविज्ञान को अच्छी तरह समझकर उनकी उचित देखभाल कर सकती है. इसके बाद मिडवाइफ श्रेणी में वह नर्स आती है, जिनकी विशेषज्ञता गर्भवती स्त्रियों का ख्याल रखना व बच्चों के जन्म के दौरान सहायता मुहैया करना है. इसके अतिरिक्त ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को चिकित्सकीय सेवाएं उपलब्ध कराने वाली नर्सिंग से जुड़ी युवतियां हेल्थ वर्कर कहलाती हैं.