झड़ते बालों को रोकने के लिए करे ये आसान सा घरेलू उपाय

एलोपेसिया के उपचार का सबसे पहला चरण है लक्षणों के आधार पर इसकी पहचान। इस दौरान मरीज की मेडिकल हिस्ट्री का पूरा ब्यौरा लिया जाता है।
गंजेपन का पैटर्न, सूजन या संक्रमण का परीक्षण, थायरॉइड और आयरन की कमी की पहचान के लिए ब्लड टैस्ट और हार्मोनल टैस्ट आदि की मदद से इसकी जांच हो सकती है। इसके उपचार के लिए इन दवाओं और विधियों का इस्तेमाल स्थिति की गंभीरता के आधार पर किया जाता है।
योगासन : व्रजासन, पवन मुक्तासन, उष्ट्रासन और शीर्षासन करें। उक्त आसनों के विलोम आसन भी किया जाना चाहिए। उसके बाद प्राणायाम में नियमित रूप से अनुलोम-विलोम का अभ्यास करें।

पहले एसा कहा जाता था की गंजापन सिर्फ पुरशो को ही होता है लेकिन आज कल ये महिलाओं में भी आम बात हो गई है। ये हार्मोनल चंजेस के कारण होता है। दरअसल, फोलीसाइल सिकुड़ने लगते हैं तो बाल झड़ने शुरू हो जाते हैं और वहां गंजापन आ जाता है। महिलाओं में यह समस्या सबसे ज्यादा देखने को मिलती है।

कई बार इसी समस्या के चलते लम्बे और मोटे बाल, छोटे और पतले बालों में बदल जाते हैं। महिलाओं में एकदम से कभी भी गंजापन नहीं आता। पहले उनके बाल झड़ते हैं, पतले होते होते है और बाद में गंजापन आ जाता है।
अचानक गंजापन और बालों का झड़ना किसी बीमारी का कारण हो सकता है, इसलिए आपको तुरंत डॉंक्टरी सलाह लेनी चाहिए। आजकल महिलाओं में भी यह समस्या काफी दिख रही है। इस बीमारी को डॉ एलोपेसिया कहते हैं। तो चलिए जानते जानते है क्या होता है एलोपेसिया और कैसे इसे ठीक किया जा सकता है।