चीन से सीमा विवाद के बीच भारत ने अमेरिका से ख़रीदा ये खतरनाक हथियार , तैनात किया यहाँ…

सरकार की ओर से सेना के लिए उपकरण लीज पर लेने के फैसले के बाद MQ-9B पहला मिलिट्रीय हार्डवेयर है जिसे लीज पर लिया गया है। 1 अक्टूबर से प्रभावी हुए डिफेंस एक्वीजिशन प्रोसीजर 2020 के तहत हथियार खरीद पर होने वाले खर्च को घटाने के लिए हथियार और उपकरण लीज पर लेने की अनुमति दी गई है।

 

40 हजार फीट की ऊंचाई से ऑपरेट करने में सक्षम MQ-9B यूएवी लगातार 30 घंटे तक उड़ सकते हैं और 5 हजार नॉटिकल माइल्स तक देखने में सक्षम हैं। इनकी मदद से भारतीय नौसेना हिंद महासागर में एक बड़े इलाके पर नजर रख सकती है। भारत ने ऐसे 30 यूएवी को तैनात करने का प्लान बनाया है, जिनमें हथियार बरसाने वाले ड्रोन भी शामिल हैं।

हाई टेक यूएवी पीडेटर बी ड्रोन्स के वेरिएंट हैं, जिनका उत्पादन अमेरिकी कंपनी जनरल ऑटोमिक्स ने किया है। इसे तमिलनाडु स्थित राजाली नेवल एयर स्टेशन पर तैनात किया गया है.

जहां भारतीय नेवी के P-8I लॉन्ग रेंज मैरिटाइम टोही विमानों को भी रखा गया है। अधिकारियों ने बताया कि यूएवी नवंबर की शुरुआत में आ गए थे और पिछले सप्ताह से मिशन में जुट गए हैं।

चीन से सीमा विवाद के बीच भारतीय नौसेना ने अमेरिका से दो MQ-9B सीगार्जियन अनमैन्ड एरिअल वीइकल्स (UAV) लीज पर लिए हैं। इससे इंटेलिजेंस, सर्विलांस और दुश्मनों की टोह लेने की क्षमता बढ़ेगी होगी।

इस मामले से जुड़े अधिकारियों ने बुधवार को यह जानकारी दी। अधिकारियों ने नाम गोपनीय रखने की शर्त पर बताया कि इन ड्रोन्स को एक साल के लिए लीज पर लिया गया है।