रविवार 21 अप्रैल, श्रीलंका एक दशक बाद आतंकी हमले से दहल गया। एक के बाद एक हुए आठ ब्लास्ट्स ने 290 लोगों की जिंदगियों को लील लिया। इस हमले को अंजाम देने वाले आत्मघाती हमलावर के बारे में जो नई जानकारी सामने आ रही है, उसके मुताबिक पहले हमलावर ने होटल के बुफे में नाश्ते के लिए लाइन में लगा था। इसी समय उसने पीठ पर बंधी बेल्ट को ब्लास्ट कर दिया। ईस्टर के मौके पर श्रीलंका में हुए आतंकी हमलों के पीछे तौहीद जमात का नाम सामने आ रहा है।
हमले की एक रात पहले ही पहुंचा था होटल
रविवार को हमलावर श्रीलंका के सिनामॉन ग्रांड होटल में था। यहां पर वह बहुत ही शांति और धैर्य के साथ बफे की लाइन में लगकर अपने नाश्ते का इंतजार कर रहा था। किसी को अंदाजा भी नहीं था कि कुछ ही सेकेंड्स के बाद वह सैंकड़ों लोगों की हत्या करने वाला है। हमले की एक रात पहले ही वह यहां पर पहुंचा था और इसका नाम मोहम्मद अजाम मोहम्मद दर्ज है। सिनेमॉन होटल के रेस्टोरेंट में हुए हमले के पीछे अजाम का हाथ था। सिनेमॉन होटल के ताप्रोबेन रेस्टोरेंट में भी एक ब्लास्ट हुआ था।
ईस्टर और संडे की वजह से काफी भीड़
होटल मैनेजर ने अपना नाम न बताने की शर्त पर न्यूज एजेंसी एएफपी के साथ बातचीत में कहा, ‘रेस्टोरेंट में अराजकता का माहौल था और हर ओर अफरा-तफरी मची हुई थी।’ ईस्टर की वजह से रेस्टोरेंट में बहुत ही भीड़ थी और ईस्टर वीकेंड की वजह से रविवार का दिन सबसे व्यस्त दिन था। मैनेजर की ओर से बताया गया है कि सुबह के करीब 8:30 बजे थे और बहुत ही भीड़ थी। यहां पर फैमिलीज आई हुई थीं। हमलावर बफे की लाइन में लगा और फिर उसने बेल्ट का बटन दबा दिया। ब्लास्ट में होटल का वह मैनेजर हो मेहमानों का स्वागत कर रहे थे, मौके पर ही उनकी मृत्यु हो गई। हमलावर के बॉडी पार्ट्स को भी पुलिस अपने साथ ले गई है।
श्रीलंका का ही रहने वाला था बॉम्बर
होटल के एक और ऑफिसर ने बताया है कि बॉम्बर जो कि श्रीलंका का ही रहने वाला था, उसने एक गलत एड्रेस दिया था। होटल ऑफिशियल की मानें तो हमलावर ने यह बताया था कि वह शहर में बिजनेस के सिलसिले में आया हुआ है। सिनेमॉन होटल श्रीलंका के प्रधानमंत्री के आधिकारिक निवास के करीब है और इस वजह से हमले के बाद स्पेशल टॉस्क फोर्स के कमांडोज तुरंत ही होटल पर पहुंच गए थे।
तीन चर्च भी बने निशाना
कोलंबो में दो और होटल्स शांगरी-ला और किंग्सबरी में भी इस समय हमले हुए। इसके अलावा ईस्टर मास आयोजित करने वाले तीन चर्च भी हमले का शिकार बने जहां पर ईस्टर संडे सर्विसेज की वजह से बहुत भीड़ थी। कोलंबो के एतिहासिक कैथोलिक चर्च सेंट एंथोनीज में हुआ ब्लास्ट इतना ताकतवर था कि चर्च की छतों की टाइत्स, शीशे और लकड़ी का बना पूरी तरह से उड़ा गया। श्रीलंका में हुए हमलों में पांच भारतीयों समेत 35 विदेशी नागरिकों की मौत हुई है।