अब नहीं सुनाई देगी अमिताभ बच्चन की कोरोना वाली कॉलर ट्यून , जाने किसने ली उनकी जगह

याचिकाकर्ता ने कोर्ट में कहा था कि केंद्र सरकार की ओर से अमिताभ बच्चन को कॉलर ट्यून में इस आवाज के लिए भुगतान किया जा रहा है, जबकि देश में ऐसे भी कई कोरोना वॉरियर हैं, जो फ्री में ही यह काम करने के लिए तैयार हैं।

याची का कहना था कि अमिताभ बच्चन सामाजिक कार्यकर्ता के तौर पर अपना रोल अदा नहीं कर रहे हैं। ऐसे में उन्हें इससे हटाया जाना चाहिए। याचिकाकर्ता का कहना था कि कोरोना काल में उसने गरीब लोगों की मदद की थी। उसने गरीबों को राशन पानी आदि मुहैया कराया था।

यही नहीं अमिताभ की आवाज के इस्तेमाल के खिलाफ बीते दिनों याचिका भी दाखिल हुई थी, जिसमें कहा गया था कि वह खुद कोरोना संक्रमित रह चुके हैं, ऐसे में उनकी आवाज का यूज किया जाना ठीक नहीं है।

बीते साल जुलाई में ही अमिताभ बच्चन, उनके बेटे अभिषेक बच्चन, बहू ऐश्वर्या राय बच्चन और पोती आराध्या कोरोना संक्रमित हो गए थे। यह याचिका दिल्ली स्थिति सामाजिक कार्यकर्ता राकेश की ओर से दाखिल की गई थी। राकेश का कहना था कि सरकार का मकसद इस कॉलर ट्यून के जरिए लोगों को कोरोना से बचाव के प्रति जागरूक करना है, जबकि अमिताभ और उनका परिवार खुद ही इसके दायरे में आ चुके हैं।

कोरोना संक्रमण से बचाव और रोकथाम के लिए जागरूक करने वाली अमिताभ बच्चन की आवाज में कॉलर ट्यून अब नहीं सुनाई देगी। उनकी जगह किसी महिला की आवाज का इस्तेमाल किया जाएगा।

हालांकि अभी यह पता नहीं चल सका है कि अमिताभ बच्चन के विकल्प के तौर पर किसकी आवाज को इस्तेमाल किया जाएगा। स्वास्थ्य मंत्रालय के सूत्रों के मुताबिक अब लोगों को कोरोना से बचाव की बजाय वैक्सीन के अभियान के बारे में जानकारी दी जाएगी। बता दें कि कोरोना कॉलर ट्यून के लिए अमिताभ बच्चन की आवाज के इस्तेमाल पर आपत्ति भी जताई गई थी।