मुस्लिम लड़कियों की पढाई को बढ़ावा देने के लिये मोदी सरकार ने उठाया यह बड़ा कदम

 नरेन्द्र मोदी (Narendra Modi) सरकार अल्पसंख्यक (Minority) लड़कियों को शिक्षित (Educate) करने का कोई मौका नहीं छोड़ रही है पढ़ाई करने के लिए तरह-तरह से मदद कर रही है इतना ही नहीं विवाह के लिए 50 हजार रुपये की मदद भी इस शर्त पर दी जा रही है कि पहले आपको ग्रेजुएट होना पड़ेगा इसी तरह की एक योजना नरेन्द्र मोदी सरकार ने बेगम हज़रत महल छात्रवृत्ति के नाम से चलाई है इस योजना के तहत कक्षा 9 से 12वीं तक की पढ़ाई के लिए हर वर्ष छात्रवृत्ति (Scholarship) दी जाती है योजना में आवेदन की आखिरी तारीख 30 सितम्बर है इसका संचालन मौलाना आजाद (Maulana Azad) शिक्षा फाउंडेशन कर रहा है

सरकार किस-किस को दे रही है पढ़ाई के लिए मदद

बेगम हज़रत महल छात्रवृत्ति योजना के तहत मुस्लिम, ईसाई, सिक्ख, बौद्ध, जैन  पारसी समुदाय की छात्राओं को पढ़ाई के लिए मदद दी जा रही है योजना में कक्षा 9 से 10 के तहत 5 हजार  कक्षा 11 से 12वीं तक के लिए 6 हजार रुपये की मदद मिलेगी छात्रवृत्ति की रकम सीधे लाभ पाने वाले छात्रा के बैंक खाते में पहुंचेगी

योजना का फायदा लेने की यह है शर्त

मौलाना आजाद शिक्षा फाउंडेशन के उपाध्यक्ष अशफाक सैफी ने बताया कि योजना का मकसद पूरी तरह से छात्राओं को पढ़ाई के लिए प्रेरित करना है इस योजना का फायदा लेने के लिए यह महत्वपूर्ण है कि छात्रा ने अपनी पिछली कक्षा में 50 फीसदी या उससे अधिक नम्बर हासिल किए हों साथ ही उसके माता-पिता की सालाना इनकम 2 लाख रुपये से अधिक न हो

छात्रवृत्ति पाने के लिए करना होगा यह काम 

>>आवेदक द्वारा स्व-घोषित अल्पसंख्यक समुदाय का प्रमाण लेटर होना महत्वपूर्ण है

>>छात्राओं को 50 फीसदी नम्बरों के साथ पिछले साल की मार्कशीट देनी होगी

>>माता-पिता की अधिकतम 2 लाख सालाना इनकम का सर्टिफिकेट देना होगा

>>आवेदक छात्रा को आधार कार्ड, बैंक खाता पासबुक की जानकारी देनी होगी

>>स्कूल/संस्थान के प्रिंसिपल द्वारा सत्यापित एक सत्यापन प्रपत्र भी अपलोड करना होगा

>>आवेदन मौलाना आजाद शिक्षा फाउंडेशन की बेवसाइट पर दिए गए लिंक पर औनलाइन भरना होगा

>>आवेदन सिर्फ हिन्दी या अंग्रेजी में ही भरा जाएगा