अब चीन में नहीं खाए जाएंगे ये जानवर, वजह जानकर लोग हुए हैरान

चीन में अब कुत्ते के मांस के व्यापार पर प्रतिबंध लगाने की शुरुआत उस समय हो रही है, जब यहां के गुआंग्शी के दक्षिणी क्षेत्र में युलिन शहर में अत्यधिक विवादास्पद कुत्ते के मांस का त्योहार ‘यूलिन उत्सव’ मनाया जाने वाला है।

 

चीन ने कृषि मंत्रालय ने पशुधन और मुर्गी पालन के नए दिशा-निर्देश जारी किए हैं, जिसमें 17 पारंपरिक पशुधन प्रजातियां शामिल हैं। इनमें मवेशी, सूअर, मुर्गी, खरगोश और ऊंट शामिल हैं .

तबकि बारहसिंगा, अल्पाका, तीतर, शुतुरमुर्ग और लोमड़ी सहित 16 ‘विशेष प्रजातियों’ को जोड़ा गया है। इस सूची के अनुसार, इन जीवों को भोजन, ऊन या फर के लिए पाल सकते हैं।

अपनी वेबसाइट पर एक नोटिस जारी करते हुए कृषि मंत्रालय ने कहा कि उन्‍होंने जानवरों की सूची पर जनता की राय ली, जिसमें ज्यादातर लोग सहमत हुए कि कुत्तों को पशुधन के रूप में सूचीबद्ध नहीं किया जाना चाहिए। कुत्‍ते को इंसान का साथी माना जाता है, इसलिए उसको इस लिस्‍ट से बाहर कर दिया गया।

इसमें कहा गया है कि कुत्तों को पालतू बनाने का एक लंबा इतिहास है, अतीत में उनका उपयोग घरों की रखवाली, शिकार और चरवाहे किया करते थे, अब उन्हें पालतू जानवरों के रूप देखा जाता है। वह खोज और बचाव का काम भी करते हैं, जिससे वह इंसान के काफी करीब हैं।

चीन के वुहान शहर की वैट मार्किट से कोरोना वायरस की शुरुआत हुई थी। माना जाता है कि यहां पर जानवरों से ही कोरोना वायरस इंसान में फैला और फिर इसने पूरी दुनिया को अपनी चपेट में ले लिया।

हालांकि इस महामारी के बाद चीन की सरकार को होश आया है और उन्‍होंने कुत्तों को खाने पर रोक लगाने का निर्णय किया है। चीन ने कृषि मंत्रालय द्वारा जारी किए गए नए दिशानिर्देशों के अनुसार, कुत्तों को अब पालतू जानवर बताया गया है, जबक‍ि पहले इसको पशुपालन की श्रेणी में रखा गया था।