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ब्याज दर 9% से अधिक होने पर मकान खरीदारी होगी प्रभावित, 2029 तक 1.04 लाख करोड़ डॉलर का आवासीय बाजार

भारत की आर्थिक वृद्धि रियल एस्टेट क्षेत्र में तेजी से विस्तार को बढ़ावा दे रही है। आवासीय बाजार हर साल 25.6 फीसदी की दर से बढ़ रहा है, जिसके 2029 तक बढ़कर 1.04 लाख करोड़ डॉलर तक पहुंचने की उम्मीद है। हालांकि, इस वृद्धि में महंगे होम लोन बड़ी बाधा बन सकते हैं। फिक्की और एनारॉक के ‘मकान खरीदार धारणा सर्वेक्षण’ सर्वे में शामिल करीब 90 फीसदी उत्तरदाताओं का कहना है कि होम लोन के 9 फीसदी से अधिक होने पर मकान खरीदने की उनकी इच्छा प्रभावित हो सकती है। सर्वे में दावा किया गया है कि 71 फीसदी से अधिक लोग मानते हैं कि अगर ब्याज दर 8.5 फीसदी से कम रहती हैं, तो खरीदारी का फैसला प्रभावित नहीं होगा। 54 फीसदी ने कहा, ब्याज दर 8.5 फीसदी से 9 फीसदी के बीच होने पर उन्हें अपनी पसंद पर विचार करना पड़ेगा।

98% चाहते हैं…समय पर पूरी हो परियोजना
करीब 98 फीसदी मकान खरीदारों की प्राथमिकता समय पर परियोजनाओं का पूरा होना है। 93 फीसदी लोग बेहतर निर्माण गुणवत्ता चाहते हैं, जबकि 72 फीसदी उत्तरदाता अच्छे हवादार मकान खरीदना चाहते हैं।

रियल एस्टेट निवेश का पसंदीदा क्षेत्र
59 फीसदी से अधिक लोगों के लिए रियल एस्टेट निवेश का पसंदीदा क्षेत्र है। 67 फीसदी से अधिक लोग खुद के इस्तेमाल के लिए मकान खरीदना चाहते हैं। 35 फीसदी से अधिक खरीदारों के लिए 45-90 लाख का बजट पसंदीदा विकल्प है। 28 फीसदी 1.5 करोड़ तक के मकान खरीदना चाहते हैं।

उद्योग की सफलता के लिए विश्वास महत्वपूर्ण
फिक्की के कार्यक्रम में सेबी के कार्यकारी निदेशक प्रमोद राव ने कहा, उद्योग की दीर्घकालिक सफलता के लिए निवेशकों का विश्वास महत्वपूर्ण है। पारदर्शिता और कामकाज के तरीकों पर सेबी की नजर इस विश्वास को बनाए रखने में महत्वपूर्ण कारक रही है।

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