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गोल्ड लोन सात माह में 50 फीसदी बढ़ा, पर्सनल लोन सहित कुल कर्ज में वृद्धि दर 9% से नीचे

सोने की कीमतों में हालिया तेजी ने उधार लेने वालों के लिए मौका दे दिया है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के आंकड़ों के मुताबिक, चालू वित्त वर्ष के पहले सात महीनों यानी अप्रैल से अक्तूबर के दौरान गहनों के एवज में दिए जाने वाले कर्ज में 50.4 फीसदी का इजाफा हुआ है। यह तेज वृद्धि तब हुई है, जब हर दूसरे पर्सनल लोन सेगमेंट में उधारी की दर 9 फीसदी से भी कम रही है।

सालाना आधार पर 56% की बढ़ोतरी

आरबीआई के आंकड़ों के अनुसार, 18 अक्तूबर तक सोने के एवज में दिया गया कुल कर्ज 1,54,282 करोड़ रुपये था। मार्च, 2024 के अंत में यह 1,02,562 करोड़ रुपये था। सालाना आधार पर इसमें 56% की बढ़ोतरी हुई है। अक्तूबर, 2023 में केवल 13 फीसदी की बढ़त थी। बैंकरों का कहना है कि गोल्ड लोन में बढ़ोतरी के कई कारण हो सकते हैं।

सोने की कीमत प्रति दस ग्राम 80 हजार रुपये के करीब तक पहुंची

इनमें गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (एनबीएफसी) के नियमों में बदलाव और असुरक्षित ऋणों की तुलना में सुरक्षित ऋणों को प्राथमिकता देना शामिल है। कुछ विश्लेषक गोल्ड लोन की बढ़ती मांग को वित्तीय संकट का संकेत भी मानते हैं। मालूम हो कि हाल में सोने की कीमत प्रति दस ग्राम 80 हजार रुपये के करीब पहुंच चुकी है।

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