इंडियन रेलवे के कर्मचारियों के लिए उत्पादकता आधारित रेल कर्मियों को बोनस के तौर पर लगभग 17,950 रुपए मिलेंगे। इस बोनस का फायदा रेलवे के करीब 12 लाख नॉन गजटेड कर्मचारियों को मिलेगा। त्योहारों के पहले बोनस मिलने से रेल कर्मियों के लिए त्योहारों में खरीददारी के बेहतर मौके होंगे। हालांकि रेलवे के कर्मचारी संगठन इस बोनस बो बेहद कम बता रहे हैं।
78 दिनों का मिलेगा बोनस
ऑल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन के महामंत्री शिव गोपाल मिश्रा ने बताया कि गवर्नमेंट को रेल कर्मियों को मिलने वाले बोनस के फार्मूले को तत्काल बदलने की आवश्यकता है। रेल कर्मियों को 78 दिन के बोनस के तौर पर 17950 रुपये मिल रहा है। ये न्यूनतम मजदूरी से भी कम है। आज के समय में एक महीने की न्यूनतम मजदूरी 18000 रुपये है। वहीं पब्लिक सेक्टर में प्रति दिन के वेतन के हिसाब से बोनस बनता है। ऐसे में जितने दिन का बोनस घोषित होता है उतने दिन का बोनस मिलता है। रेलवे की ओर से 75 दिन का बोनस देने की योजना थी। जिसे रेल कर्मचारी संगठनों के भारी विरोध के चलते 78 दिन किया गया है। लेकिन कर्मचारियों की मांग है कि कम से कम 80 दिनों का बोनस रेल कर्मियों को मिलना चाहिए।
क्या है बोनस घोषित करने का फॉर्मूला
रेलवे की ओर से रेल कर्मियों को 78 दिनों का बोनस देने की बात कही जा रही है। वहीं 30 दिन के बोनस के तौर पर 7000 रुपये के आधार पर बोनस का आंकलन किया जाता है। इसका रेल कर्मी लम्बे समय से विरोध भी कर रहे हैं। रेलवे के कर्मचारी संगठनों के अनुसार रेलवे में इस समय कर्मचारियों की भारी कमी है। ऐसे में कम कर्मचारियों ने ज्यादा कार्य किया है। ऐसे में बोनस भी अधिक मिलना चाहिए।