आय से अधिक संपत्ति की जांच से बढ़ी अखिलेश और मुलायम की मुश्कीलें

समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष व उत्तर प्रदेश पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव और उनके पिता मुलायम सिंह यादव की मुश्कील बढ़ सकती है। इन दोनों के खिलाफ सोमवार को सुप्रीम कोर्ट आय से अधिक संपत्ति की जांच रिपोर्ट पेश करने का सीबीआइ को निर्देश देने की मांग को लेकर दायर याचिका पर सुनवाई करेगा।

प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली एक पीठ ने राजनीतिक कार्यकर्ता विश्वनाथ चतुर्वेदी की नयी याचिका को 25 मार्च को सुनवाई के लिये सूचीबद्ध किया है, जिसमें उन्होंने सीबीआई को ये निर्देश देने की मांग की थी कि वो या तो उच्चतम न्यायालय या फिर एक मजिस्ट्रेट अदालत के समक्ष आय से अधिक संपत्ति मामले की रिपोर्ट पेश करे।

बता दें कि चतुर्वेदी ने 2005 में सर्वोच्च न्यायालय में एक जनहित याचिका दायर कर सीबीआई को यह निर्देश देने की मांग की थी वह मुलायम सिंह यादव, अखिलेश, उनकी पत्नी डिंपल यादव और मुलायम के एक अन्य बेटे प्रतीक यादव के खिलाफ सत्ता का दुरुपयोग कर कथित तौर पर आय के ज्ञात स्रोत से अधिक संपत्ति अर्जित करने पर भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम के तहत उचित कार्रवाई करे।

उच्चनम न्यायालय ने एक मार्च 2007 के अपने फैसले में सीबीआई को निर्देश दिया था कि वह आरोपों की जांच करे और यह पता लगाए कि समाजवादी पार्टी के नेताओं की आय से अधिक संपत्ति के संदर्भ में लगाए गए आरोप “सही है या नहीं।” बाद में 2012 में कोर्ट ने मुलायम सिंह, अखिलेश और प्रतीक की पुनर्विचार याचिका खारिज कर दी थी।