मनोवैज्ञानिक आधार पर देखी जा रही ये बीमारी व्यापक रूप से बच्चों में

आपको कम आयु में ही दिल की बीमारी हो जाती है। ऐसे में आपको खास ख्याल रखना होता है। इसी से आपकी स्वास्थ्य व स्वस्थ पर अच्छा प्रभाव पड़ता है। यहाँ तक की अब तो यह बीमारी बच्चों में भी व्यापक रूप से देखी जा रही हैं। इसके पीछे का मुख्य कारण गलत खानपान व जीवनशैली होती हैं। इससे बचने के लिए बच्चों को उनके बचपन से ही कुछ आदतों को शामिल करने की आवश्यकता होती हैं,

जिससे रोगों की संभावना कम हो जाती हैं। बच्चों का ख्याल कैसे रखना है आज इसी के बारे में हम बताने जा रहे है * पढ़ाई के साथखेल व एक्सरसाइज 
आजकल माता-पिता बच्चों को हर समय पढ़ने की नसीहत देते हैं । मनोवैज्ञानिक आधार पर देखें तो बच्चे एक दिन में 8-10 घंटे से ज्यादा पढ़ाई नहीं कर पाते हैं । इसमें स्कूल में पढ़ाई का समय भी शामिल है । पढ़ाई के साथ-साथ बच्चों की फिजिकल फिटनेस भी महत्वपूर्ण है । इसलिए बचपन से ही बच्चों को आउटडोर गेम्स के लिए प्रेरित करें व रोज कम से कम आधा घंटा अभ्यास करवाएं ।

* हेल्दी डाइट की आदत डालें 
दिल को स्वस्थ रखने का सबसे सरल उपाय है स्वस्थ व पौष्टिक आहार खाना । इसके लिए बच्चों को बचपन से ही कम शुगर व कम नमक खाने की आदत डालवाएं । इसके अतिरिक्त अनहेल्दी फैट युक्त आहार, हाई कैलोरी फास्ट फूड्स व जंक फू्ड्स बहुत कम खाने दें । किसी स्पेशल मौके पर कुछ फास्ट फूड्स खाए जा सकते हैं मगर उन्हें भी आप स्मार्टली हेल्दी तरीके से बना सकती हैं ।

* कोलेस्ट्रॉल अच्छा रखें 
बहुत सारे बच्चों में ब्लड में सीमा से ज्यादा कोलेस्ट्रॉल की समस्या पाई जाती है मगर इसके कोई खास लक्षण न दिखने के कारण इसका पता नहीं चल पाता है । कोलेस्ट्रॉल नसों में ब्लड के फ्लो को प्रभावित करते हैं इसलिए स्वस्थ बॉडी के लिए कोलेस्ट्रॉल का कम होना महत्वपूर्ण है । अगर आपके परिवार में पहले से कोई दिल, कोलेस्ट्रॉल या डायबिटीज का मरीज रहा है, तो बच्चों की रेगुलर जांच करवाएं ।